बगीचा सिंह मिन्हस
जन्म पंजाब,ब्रिटिश भारत
राष्ट्रीयता भारतीय

बगीचा सिंह मिन्हस जी का जन्म पंजाब,ब्रिटिश भारत मे १९२९ मे हुआए है! मिन्हास जी एक गरीब पंजाबी किसान का सबसे बड़ा बेटे थे और अपने परिवार में वह स्कूल जाने वाला पहले व्यक्ति थे!

शिक्षा संपादित करें

बगीचा सिंह मिन्हस ने अपनी पहली डिग्री बीएससी(BSc) अमृतसर के खालसा कॉलेज से प्रप्त की और पंजाब विश्वविद्यालय से अर्थशास्त्र में मास्टर डिग्री प्रप्त की है! उन्होंने स्टैनफोर्ड विश्वविद्यालय, यूएसए से अर्थशास्त्र में पीएचडी भी पूरी की है! उन्होंने स्टैनफोर्ड में एक सहायक प्रोफेसर के रूप में अर्थशास्त्र पढ़ाया, लेकिन बाद में वह अनुसंधान प्रोफेसर के रूप में भारत लौट आए और १९७१ से १९८६ तक भारतीय सांख्यिकी संस्थान में योजना प्रभाग के प्रमुख बने रहे! १९८१ से १९८४ तक, उन्होंने अफ्रीका-एशियाई ग्रामीण पुनर्निर्माण संगठन के महासचिव के रूप में कार्य किया है! मिन्हस जी को वित्त आयोग का सदस्य नियुक्त किया गया था! उन्होंने नियोजन रणनीतियों के साथ-साथ वित्तीय विश्लेषण पर भी काम किया!१९७३ मे में मिन्हस जी इकोनॉमेट्रिक सोसाइटी का हिस्सा रहे है! १९८० से १९९० तक, वह राष्ट्रीय नमूना सर्वेक्षण (एनएसएस) संगठन के अध्यक्ष भी रह चुके है!

व्यवसाय संपादित करें

१९९०-९२ इंडियन काउंसिल ऑफ सोशल साइंस रिसर्च में राष्ट्रीय फेलो और अमेरिकन इकोनॉमिक एसोसिएशन के जीवन भर सदस्य रहे है! १९९२ से १९९३ तक, वह इंडियन इकोनॉमिक सोसाइटी के अध्यक्ष थे और १९९४ से १९९८ तक, वह इंडियन एसोसिएशन फॉर रिसर्च इन नेशनल इनकम एंड वेल्थ के अध्यक्ष थे! वह राष्ट्रीय नमूना सर्वेक्षण (एनएसएस) संगठन के अध्यक्ष भी थे! मिन्हास एक अग्रणी लेख का सह-लेखक था जो प्रतिस्थापन उत्पादन समारोह की निरंतर लोच को प्राप्त करता था और इसके अर्थशास्त्रीय उपयोगों का प्रदर्शन करता था! केनेथ एरो और रॉबर्ट सोलो भविष्य नोबेल मेमोरियल पुरस्कार सम्मान के सह-लेखक थे!

१९९४ मे उन्होंने योजना और गरीब नामक की एक पुस्तक लिखी! पिछले प्रधान मंत्री जवाहरलाल नेहरू की तरह, मिन्हस जी ने भी भरोसा किया कि भारत में बड़े लक्ष्य मौद्रिक दृष्टिकोण और व्यएवस्था अनिवार्य रूप से होनी चाहिए! राक्षसी आवश्यकता का उन्मूलन होना चाहिए! उन लोगों के साथ उनकी कोई सहनशीलता नहीं थी जिन्होंने गरीब लोगों के जीवन पर उनके प्रभाव के बजाय दर्शन के गुलाब-रंग वाले चश्मे के साथ वित्तीय व्यवस्था देखी!

मिन्हस न केवल एक प्रतिष्ठित अर्थशास्त्री और एक डाउन-टू-पृथ्वी नीति विश्लेषक थे, लेकिन सबसे महत्वपूर्ण बात यह भी थी कि वे एकमात्र चरित्र और अखंडता में से एक थे, जो अपने दिमाग में डरने से डरते नहीं थे, न कि अकल्पनीय भाषा में भरोसा नही करनते थे! मिन्हास जी एक गरीब परिवार से थे, इसिलिए वह देश कि आथिक अवस्था थीक करना चाहते थे! उन्होने इंदिरा गांधी से भी बात की और वह देश को गरीबी से मुक्ती दिलाना चाहते थे! और केदी लोग को भी रिहा कराना चाहते थे! उनका मिसिन था कि देश कि आरथिक व्यवस्ता अच्छि होजाए, वह इस्सी मिसिन मे जुटे रहते थे! उन्होंने १९६० के दशक के अंत में जल संसाधनों के प्रबंधन के महत्व की भी पहचान की थी, एक समस्या जो अब व्यापक रूप से एक महान महत्व के रूप में मान्यता प्राप्त है!

मिनहास जी एक प्रतिष्ठित अर्थशास्त्री और पृथ्वी से नीचे नीति विश्लेषक थे! उनके कई शोध पत्र क्लासिक्स बने रहे हैं और नीति के दो और तीन दशक पहले उनके कई अवलोकन आज भी प्रासंगिक हैं! उनके दिमाग की गुणवत्ता और परिणामों के डर के बिना अनावश्यक सच्चाई व्यक्त करने की उनकी क्षमता ने उन्हें सत्ता में और बाहर राजनेताओं का सम्मान अर्जित किया! हम उनकी उपलब्धियों, अच्छाइयों के बारे मे कितना भी गुन-गान करे वह कम है! भारत ने ३० अगस्त २००५ को ब्लूमिंगटन, ब्रिटेन में एक महान अर्थशास्त्री खो दिया! जिसे खोने का आज तक अफसोस है! उन्होने भारत को बोहोत कुछ प्रदान किया है!

पुरस्कार संपादित करें

अर्थशास्त्र १९९९ के लिए वित्तीय एक्सप्रेस पुरस्कार २७ दिसंबर १९९९ को अमृतसर में इंडियन इकोनॉमिक एसोसिएशन के वार्षिक सम्मेलन में मिन्हस को प्रस्तुत किया गया था! उसके अलावा मिन्हस जी को २००३ में विज्ञान और इंजीनियरिंग के लिए पद्म भूषण पुरस्कार मिला!

सन्दर्भ संपादित करें

[1] [2]

  1. https://www.jstor.org/stable/4417347?seq=1#page_scan_tab_contents
  2. https://www.business-standard.com/article/opinion/b-s-minhas-down-to-earth-policy-analyst-105091501020_1.html