जब एक देश की बाज़ार राष्ट्रीय सीमाओं से बढ़कर, अंतराष्ट्रीय सीमाओं तक हो जाये तो उसे अंतराष्ट्रीय बाज़ार कहते हैं। अतार्थ: दो या दो से अधिक देशों के मध्य होने वाले व्यापार को अंतराष्ट्रीय बाज़ार कहते हैं।

उद्देश्य संपादित करें

  • बाज़ार का विस्तार करना
  • विदेशी मुद्रा को प्राप्त करना
  • देश का तीव्र विकास
  • परस्पारिक संबंध

महत्त्व संपादित करें

  • प्रकृतिक संसाधनों का समान रुप से वितरण।
  • रोज़गार और आय में वृद्धि।
  • उत्तम किस्म कि वस्तुओं का उपभोग।
  • तीव्र औद्योगिकरण।

संदर्भ संपादित करें