ईवर आसेन
ईवर आसेन (Ivar Aasen ; १८१३-९६) नार्वे के भाषावैज्ञानिक थे। उन्होने नार्वे के लोकजीवन, साहित्य और गीतों का गहरा अध्ययन किया था। उसी लोकभाषा को कुछ हेर फेर कर एक नई लोकभाषा को इन्होंने जन्म दिया जो अत्यन्त लोकप्रिय हुई । बाद में लोकजीवन पर लिखनेवाले विद्वानों ने इसी को अपनाया। कुछ उत्साही वर्ग इसी को राजभाषा बनाने के पक्ष में थे। साहित्य के इतिहास में आसेन ही ऐसे व्यक्ति हैं जिन्होंने एक ऐसी नवीन भाषा का निर्माण किया जो इतनी जनप्रिय भी हुई।
ईवर आसेन (Ivar Aasen) | |
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जन्म | Iver Andreas Aasen[1] 5 अगस्त 1813 Ørsta, Norway |
मौत | 23 सितम्बर 1896 Christiania, Norway | (उम्र 83 वर्ष)
पेशा | Philologist, lexicographer, playwright, poet |
भाषा | Norse dialects |
राष्ट्रीयता | Norwegian |
हस्ताक्षर |
उनका जन्म सैडमोर (नार्वे) में हुआ था।