एक साल
एक साल 1957 में बनी हिन्दी भाषा की चलचित्र है। इसमें अशोक कुमार, मधुबाला, महमूद, जॉनी वॉकर आदि कलाकार हैं। इसमें संगीत रवि का है।
एक साल | |
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एक साल का पोस्टर | |
निर्देशक | देवेन्द्र गोयल |
निर्माता | देवेन्द्र गोयल |
अभिनेता |
अशोक कुमार, मधुबाला, महमूद, जॉनी वॉकर |
संगीतकार | रवि |
प्रदर्शन तिथि |
1957 |
देश | भारत |
भाषा | हिन्दी |
संक्षेप
संपादित करेंबॉम्बे में रहने वाली ऊषा सिन्हा (मधुबाला) अपने विधुर पिता, सेवानिवृत्त कर्नल के साथ समृद्ध जीवन शैली में रहती है। लखनऊ में अपनी नानी के जन्मदिन के उत्सव के दौरान, उसे कोई रिझाने का प्रयास करता है लेकिन वह उसे नजरअंदाज कर देती है। उसे वह फिर टैक्सी में और फिर बॉम्बे में उसके अपने घर में भी मिलता है। उसे पता चलता है कि उसका नाम सुरेश (अशोक कुमार) है, जिसे उसके पिता ने मैनेजर के रूप में काम पर रखा है। आखिरकार वह और सुरेश दोनों एक दूसरे के प्यार में पड़ जाते हैं।
सुरेश ऊषा की बहुत परवाह करता है। यह सुनिश्चित करने के लिये कि सब कुछ ठीक है, वह उसे मेडिकल जांच के लिए एक डॉक्टर के पास ले जाता है। वहाँ पता चलता है कि उसे ब्रेन ट्यूमर है और उसकी एक साल से ज्यादा जीने की उम्मीद नहीं है। ऊषा को यह नहीं पता कि सुरेश उससे बिल्कुल भी प्यार नहीं करता है, क्योंकि उसका सच्चा प्यार रजनी नाम की एक लखनऊ की रहने वाली महिला है। वह यहाँ सिर्फ उनका विश्वास जीतने के लिए आया है, ताकि वह उन सभी को लूटने में सफल हो सके।
मुख्य कलाकार
संपादित करें- अशोक कुमार — सुरेश कुमार
- मधुबाला — ऊषा सिन्हा
- महमूद — डॉक्टर
- कुलदीप कौर — रजनी
- जॉनी वॉकर — पिंटो
- मिनू मुमताज़ — मैरी
- मदन पुरी — डा. एम. एम. पुरी
- प्रतिमा देवी — ऊषा की नानी
संगीत
संपादित करेंसभी गीत प्रेम धवन द्वारा लिखित; सारा संगीत रवि द्वारा रचित।
क्र॰ | शीर्षक | गायन | अवधि |
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1. | "सब कुछ लुटा के" (महिला संस्करण) | लता मंगेशकर | 3:55 |
2. | "सब कुछ लुटा के" (पुरुष संस्करण) | तलत महमूद | 3:30 |
3. | "उलझ गये दो नैना देखों" (गीतकार - रवि) | हेमन्त कुमार, लता मंगेशकर | 3:22 |
4. | "चले भी आओ" | लता मंगेशकर | 4:07 |
5. | "छुप छुप चली पिया की गली" | लता मंगेशकर | 2:46 |
6. | "किसके लिये रुका है" | मोहम्मद रफ़ी | 2:24 |
7. | "मियाँ मेरी बीवी मेरी" | गीता दत्त, बलबीर | 4:05 |