गतिक परिसर (Dynamic range, संक्षिप्त रूप : DR या DNR) किसी चर राशि के अधिकतम एवं न्यूनतम मानों के अनुपात को कहते हैं जो किसी युक्ति, उपकरण, यंत्र या अंग द्वारा ग्रहण किये जा सकते हैं। इसे या तो अनुपात के रूप में अभिव्यक्त किया जाता है या अनुपात के लघुगणक (डेसीबेल और डबुलिंग्स) द्वारा अभिव्यक्त करते हैं। उदाहरण के लिये मानव के कान एवं नेत्र की गतिक परिसर बहुत अधिक होती है (लगभग १०० डीबी और ९० डीबी क्रमशः)। 'गतिक परिसर' का उपयोग ध्वनि, संगीत, इलेक्ट्रॉनिकी, मापन, फोटोग्राफी आदि में होता है। अधिक गतिक परिसर वाले यंत्र, उपकरण और युक्तियाँ अच्छी मानी जातीं है।

उच्च गतिक परिसर वाला एक दृष्य

यदि कोई बहुमापी (मल्टीमीटर) कम से कम १ मिलीवोल्ट और अधिक से अधिक १००० वोल्ट का मापन कर सकता है तो कहेंगे कि इसकी गतिक परास १०००००० या १२० डीबी है। यदि कोई इलेक्ट्रानिक तुला कम से कम १ ग्राम तथा अधिक से अधिक १० किलो तौल सकती है तो उसका गतिक परिसर (१० किग्रा / १ ग्राम) = १०००० = ८० डीबी हुआ। इस तुला की विभेदन क्षमता १ ग्राम है। कोई दूसरी तुला १ मिलीग्राम न्यूनतम से लेकर १ ग्राम अधिकतम तौल सकता है तो उसकी विभेदन क्षमता बेहतर है (१ मिलीग्राम) किन्तु उसकी गतिक परिसर कम है (१ ग्राम/१ मिग्रा=१०००=६० डीबी)।

अरैखीयता, संतृप्ति (सैचुरेशन) एवं अन्य कारणों से विभिन्न युक्तियों गतिक परिसर बढ़ाना चुनौतीपूर्ण कार्य है। गतिक परिसर बढ़ाने के लिए विभिन्न क्षेत्रों में अलग-अलग तरीके अपनाए जाते हैं।

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