भद्रवर्ग (gentry) किसी पारम्परिक समाज में कुलीनवर्ग के नीचे का वह सामाजिक वर्ग होता है जिसके सदस्य अच्छे परिवारों में जन्में व अच्छे संस्कारों से युक्त माने जाते हैं। पारम्परिक समाजों में, जब अधिकांश लोग अनपढ़ थे, वे अक्सर शिक्षित भी हुआ करते थे और शिष्ट माने जाते थे।[1][2]

१८वीं शताब्दी में कोरिया में भद्रवर्गीय विद्वानों का एक सम्मेलन

इन्हें भी देखें

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  1. "Michael Hicks, review of The Origins of the English Gentry, (review no. 402)". मूल से 27 जून 2018 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 20 मई 2018.
  2. "Cambridge University Press 0521021006 - The Origins of the English Gentry Peter Coss" (PDF). मूल (PDF) से 6 जून 2011 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 20 मई 2018.