मुर्शिदाबाद जिला

पश्चिम बंगाल का जिला
(मुर्शिदाबाद ज़िले से अनुप्रेषित)
मुर्शिदाबाद ज़िला
Murshidabad district
মুর্শিদাবাদ জেলা
मानचित्र जिसमें मुर्शिदाबाद ज़िला Murshidabad district মুর্শিদাবাদ জেলা हाइलाइटेड है
सूचना
राजधानी : बहरामपुर
क्षेत्रफल : 5,324 किमी²
जनसंख्या(2011):
 • घनत्व :
71,03,807
 1,334/किमी²
उपविभागों के नाम: विधान सभा सीटें
उपविभागों की संख्या: ?
मुख्य भाषा(एँ): बंगाली


मुर्शिदाबाद भारत के पश्चिम बंगाल राज्य का एक प्रशासकीय जिला है। इसका मुख्यालय बहरामपुर में स्थित है। अनेक धर्मो, जातियों और संस्कृतियों का संगम मुर्शिदाबाद पश्चिम बंगाल में स्थित है। यहां पर पर्यटक बौद्ध, ब्राह्मण, वैष्णव, जैन और ईसाई धर्म का अनूठा संगम देख सकते हैं। इनके अलावा यह अपने ऐतिहासिक और प्राकृतिक पर्यटक स्थलों के लिए भी पूरे विश्व में जाना जाता है। यहां पर भागीरथी नदी बहती है जो मुर्शिदाबाद को दो भागों बांटती है। भागीरथी के मनमोहक दृश्य देखने पर्यटक दूर-दूर से यहां आते हैं। नदी के आस-पास का क्षेत्र भी काफी सुन्दर और आकर्षक है। यहां पर पर्यटक बेहतरीन पिकनिक का आनंद ले सकते हैं। पिकनिक मनाने के बाद मुर्शिदाबाद में मनोहारी पर्यटक स्थलों की सैर भी की जा सकती है।[1][2]

प्रमुख आकर्षण

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हजारद्वारी पैलेस

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हजारद्वारी पैलेस मुर्शिदाबाद का सबसे प्रमुख पर्यटक स्थल है। इस पैलेस में लगभग 1000 द्वार हैं जिनमें से 100 असली हैं। यह तीन मंजिला भवन है और लगभग 41 एकड़ में फैला हुआ है। इसका निर्माण डंकन मैकलियोड ने 1837 ई. में मीर जाफर के उत्तराधिकारी नवाब नजीम हूमांयू जाह के लिए यूरोपीयन शैली में किया था। यह महल बहुत खूबसूरत है। इसके मनोरम दृश्य देखना पर्यटकों को बहुत पसंद आता है।

पैलेस देखने के बाद पर्यटक यहां पर बने संग्रहालय में घूमने जा सकते हैं। इसमें शाही घरानों और नवाबों के जीवन से जुड़ी आकर्षक वस्तुंए देखी जा सकती हैं। जिनमें हथियार, सुन्दर पेंटिग्स, हाथी दांत से बनी वस्तुएं और शानदार कलाकृतियां प्रमुख हैं। इस संग्राहलय में पर्यटक 2700 से अधिक हथियारों को देख सकते हैं। इन हथियारों में नवाब अलीवर्दी खान, सिराजुद्दौला और उनके दादाजी की तलवारें प्रमुख हैं। यहां घूमने के बाद पर्यटक विन्टेज कारों का अदभूत संग्रह भी देख सकते हैं। इन कारों का प्रयोग शाही घराने के सदस्य किया करते थे। संग्राहलय और पैलेस देखने के बाद पर्यटक यहां पर बने पुस्तकालय में भी घूमने जा सकते हैं। पुस्तकालय में घूमने के लिए पर्यटकों को पहले विशेष अनुमति लेनी पड़ती है।

निजामत इमामबाड़ा

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जहां पर निजामत इमामबाड़ा स्थित है वहां पर पहले सिराजुद्दौला का इमामबाड़ा था लेकिन वह आग लगने के कारण बर्बाद हो गया था। उस इमामबाड़े के स्थान पर निजामत इमामबाड़े का निर्माण किया गया। इसका निर्माण 1847 ई. में हुमांयू जाह के पुत्र नवाब नजीम मंसूर अली खान ने हजारद्वारी पैलेस के पास कराया था। बंगाल में स्थित यह इमामबाड़ा पूरे भारत में सबसे बड़ा इमामबाड़ा है।

वसीफ मंजिल

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हजारद्वारी पैलेस के दक्षिणी द्वार के पास स्थित वसीफ मंजिल का निर्माण मुर्शिदाबाद के नवाब सर वासेफ अली मिर्जा ने कराया था। वसीफ मंजिल बहुत खूबसूरत है और अपनी खूबसूरती के लिए पर्यटकों में बहुत लोकप्रिय है। इसकी सीढ़ियां बहुत आकर्षक हैं। इनके निर्माण में मार्बल का प्रयोग किया गया है। यह सीढ़ियां पर्यटकों को बहुत पसंद आती है। मंजिल में घूमने के लिए भारतीय पर्यटकों से एक रुपया शुल्क लिया जाता है।

कटरा मस्जिद

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विशाल गुम्बद और ऊंची मिनारों के लिए प्रसिद्ध कटरा मस्जिद बहुत खूबसूरत है। इसका निर्माण नवाब मुर्शिद कुली खान ने 1723-24 ई. में कराया था। इस मस्जिद के आकर्षक दृश्य देखना पर्यटकों को बहुत पसंद आता है। मस्जिद के साथ पर्यटक यहां पर नवाब साहब की कब्र भी देख सकते हैं जो सीढ़ियों के पास स्थित है।

जहांकोसन तोप

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कटरा से 1 कि॰मी॰ की दूरी पर स्थित जहांकोसन तोप बहुत खूबसूरत है। इस तोप का निर्माण ढ़ाका के शिल्पकार जनार्दन कर्माकर ने 17वीं शताब्दी में किया था। यह तोप लगभग 17.5 फीट लंबी है। जहांकोसन तोप देखने के बाद पर्यटक कदम शरीफ मस्जिद घूमने जा सकते हैं। यह मस्जिद बहुत खूबसूरत है और पर्यटकों को बहुत पसंद आती है।

जनसांख्यिकी

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मुर्शिदाबाद ज़िला में धर्म
मुस्लिम
  
६६.२७%
हिंदु
  
३३.२१%
इसाई
  
०.२५%

जिले के अधिकांश लोग, लगभग 66%, धर्म से मुस्लिम हैं।[3]हिंदुओं की आबादी 33.21% है।

आवागमन अधिकता बांग्लादेशी मुस्लिम

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वायु मार्ग

पर्यटक वायुमार्ग द्वारा आसानी से कोलकाता विमानक्षेत्र तक पहुंच सकते हैं। यहां से मुर्शिदाबाद पहुंचने के लिए बस या टैक्सी ली जा सकती है।

रेल मार्ग

मुर्शिदाबाद के बेहरामपुर में पर्यटकों के लिए रेलवे स्टेशन का निर्माण किया गया है। सियालदह स्टेशन से भागीरथी एक्सप्रैस और लालगोला सवारी गाड़ी से पर्यटक आसानी से बेहरामपुर तक पहुंच सकते हैं।

सड़क मार्ग

पश्चिम बंगाल के विभिन्न भागों जैसे वर्धमान, रामपुरहट, सुरी और बोलपुर से पर्यटक बसों द्वारा आसानी से मुर्शिदाबाद तक पहुंच सकते हैं।

बाहरी कड़ियाँ बांग्लादेशी

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