रहमान राही
कश्मीरी कवि
रहमान राही (1925-2023) कश्मीर के प्रमुख कवि थे। ज्ञानपीठ पुरस्कार उन्हें २००४ में मिला।
जन्म | अब्दुर रहमान राही 06 मई 1925 श्रीनगर, जम्मू और कश्मीर, ब्रिटिश राज |
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मौत | 9 जनवरी 2023 श्रीनगर, जम्मू और कश्मीर, भारत | (उम्र 97 वर्ष)
पेशा | कवि, अनुवादक, समालोचक |
खिताब | साहित्य अकादमी पुरस्कार और पद्म श्री (2000) ज्ञानपीठ पुरस्कार (2004) |
ग्रन्थ
संपादित करेंरहमान राही के मुख्य ग्रन्थ:[1]
- Sana-Wani Saaz (poems) (1952)
- Sukhok Soda (poems)
- कलाम-ए-राही (poems)
- Nawroz-i-Saba (poems) (1958)
- Kahwat (literary criticism)
- Kashir Shara Sombran
- Azich Kashir Shayiri
- Kashir Naghmati Shayiri
- बाबा फरीद (translation)
- Saba Moallaqat
- Farmove Zartushtan
- Seyah Rudi Jerean Manz (collection of Kashmiri poetry)
- Koesher Shyiree Te Waznuk Surati Hal (Kashmiri poetry and its parameters).
सन्दर्भ
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