रैम्ब्राण्ट

डच चित्रकार
(रैमब्राँ से अनुप्रेषित)

रैम्ब्राण्ट हारमनज़ून फ़ान रैन (डच: Rembrandt Harmenszoon van Rijn, 15 जुलाई 1606 – 4 अकटूबर 1669) एक प्रसिद्ध डच चित्रकार थे। उन्हें यूरोपीय कला इतिहास में सबसे महत्वपूर्ण चित्रकारों में से एक स्मरण किया जाता है।[1] डच स्वर्ण युग के दौरान उनके कलात्मक योगदान नज़र में आए थे, जब डच स्वर्ण युग चित्रकारी बेहद उर्वर और नवीनता-याचक था।

रैम्ब्राण्ट फ़ान रैन

स्वय्ंचित्र (1659), नैशनल गैलरी ऑफ़ आर्ट, वॉशिंगटन, डी॰ सी॰
जन्म रैंब्रांट हारमनज़ून फ़ान रैन
15 जुलाई 1606
लैडन, डच गणराज्य (हाल में नीदरलैण्ड)
मौत 4 अक्टूबर 1669(1669-10-04) (उम्र 63)
ऐम्स्टर्डैम, डच गणराज्य (हाल में नीदरलैण्ड)
राष्ट्रीयता डच
प्रसिद्धि का कारण चित्रकारी
उल्लेखनीय कार्य थे एनाटोमी लेसन ऑफ़ डॉ॰ निकोलस तुलप, 1632
बेलशज़्ज़रज़ फ़ीस्ट, 1635
द नाइट वाच, 1642
बतशेबा एट हर बाथ, 1654
सिण्डिक ऑफ़ द ड्रेपरज़ गिल्ड, 1662

जवानी में ही चित्रकार के तौर पर सफलता हासिल करने के बाद, रैम्ब्राण्ट अपने बाद के सालों में काफ़ी व्यक्तिगत त्रासदी और वित्तीय कठिनाइयों को बर्दाश्त करना पड़ा। फिर भी उनकी नक्काशी एवं चित्रकारी उनके जीवनकाल के दौरान बहुत लोकप्रिय थी, एक कलाकार के तौर पर उनकी प्रतीशठा ऊँची बढ़ती रही और बीस साल तक उन्होंने अनेक महत्वपूर्ण डच चित्रकारों को सिखायआ था।[2]

रैम्ब्राण्ट की सबसे बड़ी रचनात्मिक प्राप्तियों में ख़ास तौर पर उनके द्वारा बनाए समकालीन के चित्र, स्वय्ंचित्र और बायबल से दृश्यचित्र शामिल हैं। उन्होंने स्वय्ंचित्र, एक अद्वितीय और अंतरंग जीवनी का निर्माण करते थे जिसमें कलाकार ने घमण्ड के बिना और अत्यंत गंभीरता से अपने आप का सर्वेक्षण किया।[1]

सन्दर्भ संपादित करें

  1. Gombrich, p. 420.
  2. Gombrich, p. 427.