लचीलापन (शारीरिक)
शारीरिक लचीलापन से आशय उस क्षमता से है कि शरीर के एक अंग या अनेक अंगों को उनके सामान्य रूप से हटकर कितना बदला जा सकता है। शरीर का लचीलापन मुख्यतः दो बातों पर निर्भर करता है- एक या अधिक जोड़ों की गति की सीमा कितनी है तथा जोड़ों पर लगी मांसपेशियों की लम्बाई कितनी बढ़ायी जा सकती है। अलग-अलग लोगों का शारीरिक लचीलापन अलग-अलग होता है। व्यायाम के द्वारा कुछ जोड़ों का लचीलापन कुछ सीमा तक बढ़ाया जा सकता है।