लेंस फ्लेयर एक ऐसी घटना है जिसमें किसी लेन्स प्रणाली में किसी उज्ज्वल प्रकाश की प्रतिक्रिया से प्रकाश बिखर जाता है। इससे अक्सर अवांछनीय छवी का उत्पादन होता है। यह चित्र बनाने वाले तंत्र द्वारा स्वयं प्रकाश के बिखरने से होता है, जैसे कि लेंस में सामग्री की खामियों से होने वाले आंतरिक प्रतिबिंब और प्रकीर्णन के माध्यम से। उन लेन्सों में जिनमें बहुत सारी विशेषताएं हों (जैसे कि ज़ूम) अधिक से अधिक लेंस फ्लेयर प्रदर्शित करते हैं, क्योंकि उनमें बहुत सारे इंटरफेस होते हैं, जिस पर प्रकाश बिखरना आसान होता है।[1]

लेंस फ्लेयर का आरेख
निम्न कोण से आने वाला प्रकाश "फंस" सकता है और लेंस की सतहों के बीच परिलक्षित हो सकता है।
सीसीटीवी कैमरे में गंभीर लेंस फ्लेयर
  1. Evening, Martin (2000). Adobe Photoshop 5.5 for Photographers: A Professional Image Editor's Guide to the Creative Use of Photoshop for the Macintosh and PC (अंग्रेज़ी में). Focal Press. आई॰ऍस॰बी॰ऍन॰ 978-0-240-51591-5.