"भीमराव आम्बेडकर": अवतरणों में अंतर

→‎बाबासाहेब का समग्र साहित्य, लेखन: ग्रंथकार डॉ. बाबासाहेब आंबेडकर की समग्र लेखन सूची लिखी....
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== बाबासाहेब का समग्र साहित्य, लेखन ==
 
डॉ. बाबासाहेब अंबेडकर ज्ञानप्रतिभाली केएवं हिमालयजुंझारू लेखक थे। बाबासाहेब को कुल दस भाषाओं का ज्ञान था, वे [[अंग्रेजी]], [[हिन्दी]], [[मराठी भाषा|मराठी]], [[पालि]], [[संस्कृत]], [[गुजराती भाषा|गुजराती]], [[जर्मन]], [[फ़ारसी भाषा|फारसी]], [[फ्रेंच]] तथाऔर [[बंगाली भाषा|बंगाली]] भाषाइन दस भाषाओं को जानते थे। बाबासाहेब ने अपने समकालिन सभी राजनेताओं की तुलना में सबसे अधिक लिखा है। सामाजिक संघर्ष में हमेशा सक्रिय और व्यस्त होने के बावजुद भी उनकी इतनी सारी किताबें, निबंध, लेख एवं भाषणों का इतना बडा यह संग्रह वाकई अद्भुत है। वे असामान्य प्रतिभा के धनी थे और यह प्रतिभा एवं क्षमता उन्होंने अपने कठीन परिश्रम से हासित की थी। वे बडे साहसी लेखक या ग्रंथकर्ता थे, उनकी हर किताब में उनकी असामान्य विद्वता एवं उनकी दुरदर्शता का परिचय होता है। डॉ. अंबेडकर की किताबें भारत में ही नहीं बल्की पुरे विश्व में बहुत प्रसिद्ध है, और पुरे विश्व में पढी जाती है। उन्होंने लिखे हुए [[भारतीय संविधान]] को '''भारत का राष्ट्रग्रंथ''' माना जाता है, भारतीय संविधान किसी भी धर्मग्रंथ से कम नहीं है तथा ओ विश्व के प्रमुख महानत् किताबों में एक है। [[भगवान बुद्ध और उनका धम्म]] यह उनका ग्रंथ '''भारतीय बौद्धों का धर्मग्रंथ''' है तथा बौद्ध देशों में बहूत मशहूर एवं महत्वपुर्ण है। उनके ग्रंथडि.एस.सी. प्रबंध [[रूपये की समस्या]] से भारत के केन्द्रिय बँकबैंक यानी [[रिझर्व बँकभारतीय ऑफरिज़र्व इंडियाबैंक]] की स्थापना हुई है। राजनिती, अर्थशास्त्र, मानवविज्ञान, धर्म, समाजशास्त्र, कानून आदी क्षेत्रों में उन्होंने किताबें लिखी है।