"गणतन्त्र दिवस (भारत)": अवतरणों में अंतर

No edit summary
टैग: मोबाइल संपादन मोबाइल वेब संपादन
No edit summary
टैग: मोबाइल संपादन मोबाइल वेब संपादन
पंक्ति 19:
 
== इतिहास ==
सन् [[१९२९|1929]] के दिसंबर में [[लाहौर]] में [[भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस]] का अधिवेशन पंडित [[जवाहरलाल नेहरू]] की अध्यक्षता में हुआ जिसमें प्रस्ताव पारित कर इस बात की घोषणा की गई कि यदि अंग्रेज सरकार 26 जनवरी [[१९३०|1930]] तक भारत को [[स्वायत्तयोपनिवेश]] (डोमीनियन) का पद नहीं प्रदान करेगी, जिसके तहत भारत ब्रिटिश साम्राज्य में ही स्वशासित एकाई बन जाता, तो [[भारत]] अपने को पूर्णतः स्वतंत्र घोषित कर देगा। 26 जनवरी 1930 तक जब अंग्रेज सरकार ने कुछ नहीं किया तब कांग्रेस ने उस दिन भारत की पूर्ण स्वतंत्रता के निश्चय की घोषणा की और अपना सक्रिय आंदोलन आरंभ किया। उस दिन से [[१९४७|1947]] में स्वतंत्रता प्राप्त होने तक 26 जनवरी स्वतंत्रता दिवस के रूप में मनाया जाता रहा। इसके पश्चात स्वतंत्रता प्राप्ति के वास्तविक दिन [[15 अगस्त]] को [[स्वतंत्रता दिवस (भारत)| भारत के स्वतंत्रता दिवस]] के रूप में स्वीकार किया गया। भारत के आज़ाद हो जाने के बाद [[संविधान सभा]] की घोषणा हुई और इसने अपना कार्य 9 दिसम्बर 1946 से आरम्भ कर दिया। संविधान सभा के सदस्य [[भारत के राज्य|भारत के राज्यों]] की सभाओं के निर्वाचित सदस्यों के द्वारा चुने गए थे। [[जवाहरलाल नेहरू]], डॉ [[भीमराव अम्बेडकरआंबेडकर|डॉ. बाबासाहेब आंबेडकर]], डॉ [[राजेन्द्र प्रसाद]], सरदार [[वल्लभ भाई पटेल]], मौलाना [[अबुल कलाम आजाद]] आदि इस सभा के प्रमुख सदस्य थे। संविधान निर्माण में कुल 22 समितीयां थी जिसमें [[मसौदा समिती]] सबसे प्रमुख एवं महत्त्वपूर्ण समिती थी और इस संविधानमसौदा सभासमिती का कार्य ‘संविधान लिखना’ था। [[मसौदा समिती]] के अध्यक्ष [[भीमराव आंबेडकर|डॉ. बाबासाहेब आंबेडकर]] जी ने विशाल एवं प्रभावशाली [[भारतीय संविधान]] 2 वर्ष, 11 माह, 18 दिन में निर्माण किया और [[संविधान सभा]] के अध्यक्ष डॉ. राजेन्द्र प्रसाद को 26 नवम्बर 1950 को सुपूर्द किया, इसलिए '''26 नवम्बर''' दिवस को भारत में [[संविधान दिवस (भारत)|संविधान दिवस]] के रुप में प्रति वर्ष मनाया जाता है। संविधान सभा ने संविधान निर्माण के समय कुल 114 दिन बैठक की। इसकी बैठकों में प्रेस और जनता को भाग लेने की स्वतन्त्रता थी। अनेक सुधारों और बदलावों के बाद सभा के 308 सदस्यों ने 24 जनवरी 1950 को संविधान की दो हस्तलिखित कॉपियों पर हस्ताक्षर किये। इसके दो दिन बाद 26 जनवरी को यह देश भर में लागू हो गया। 26 जनवरी का महत्व बनाए रखने के लिए इसी दिन [[संविधान निर्मात्री सभा]] (कांस्टीट्यूएंट असेंबली) द्वारा स्वीकृत संविधान में भारत के गणतंत्र स्वरूप को मान्यता प्रदान की गई।
 
== गणतंत्र दिवस समारोह ==