"संचार माध्यम": अवतरणों में अंतर
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'''संचार माध्यम''' (Communication Medium) से आशय है संदेश के प्रवाह में प्रयुक्त किए जाने वाले माध्यम। संचार माध्यमों के विकास के पीछे मुख्य कारण मानव की जिज्ञासु प्रवृत्ति का होना है। वर्तमान समय में संचार माध्यम और समाज में गहरा
संचार माध्यम, [[अंग्रेजी]] के "मीडिया" (मिडियम का बहुवचन) से बना है, जिसका अभिप्राय होता है दो बिंदुओं को जोड़ने वाला। संचार माध्यम ही संप्रेषक और श्रोता को परस्पर जोड़ते हैं। [[हेराल्ड लॉसवेल]] के अनुसार, संचार माध्यम के मुख्य कार्य सूचना संग्रह एवं प्रसार, सूचना विश्लेषण, सामाजिक मूल्य एवं ज्ञान का संप्रेषण तथा लोगों का मनोरंजन करना है।
संचार माध्यम का प्रभाव समाज में अनादिकाल से ही रहा है। परंपरागत एवं आधुनिक संचार माध्यम समाज की विकास प्रक्रिया से ही जुड़े हुए हैं। संचार माध्यम का श्रोता अथवा लक्ष्य समूह बिखरा होता है। इसके संदेश भी अस्थिर स्वभाव वाले होते हैं।
फिर संचार माध्यम ही संचार प्रक्रिया को अंजाम तक
==संचार==
संचार शब्द अंग्रेजी के कम्युनिकेशन का
चूंकि संचार समाज में ही घटित होता है, अत: हम समाज के परिप्रेक्ष्य से देखें तो पाते हैं कि सामाजिक
; परिभाषाएं-
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डॉ. मरी के मत में, "संचार सामाजिक उपकरण का सामंजस्य है।"
लीगैन्स की शब्दों में, " निरंतर चलने वाली प्रक्रिया है। यह प्रक्रिया निरंतर
राजनीति शास्त्र विचारक [[लुकिव पाई]] के विचार में, " सामाजिक प्रक्रियाओं का विश्लेषण ही संचार है।"
इस प्रकार संचार के
==संचार माध्यमों की प्रकृति==
[[भारत]] में प्राचीन काल से ही संचार माध्यमों का अस्तित्व रहा है। यह अलग बात है कि उनका रूप अलग-अलग होता था। भारत में संचार
'''पहला''' : शताब्दी के पूर्वाद्ध में इसका चरित्र मूलत: मिशनवादी रहा, वजह थी स्वतंत्रता आंदोलन व औपनिवेशिक शासन से मुक्ति। इसके चरित्र के निर्माण में तिलक, गांधी, माखनलाल चतुर्वेदी, विष्णु पराडकर, माधवराव सप्रे जैसे व्यक्तित्व ने योगदान किया था।
'''दूसरा''' : 15 अगस्त 1947 के बाद राष्ट्र के एजेंडे पर नई प्राथमिकताओं का उभरना।
'''तीसरा''' : सातवें दशक से विशुद्ध व्यावसायिकता की संस्कृति आरंभ हुई। वजह थी राजनीतिक महत्वाकांक्षाओं का विस्फोट।
'''चौथा''' :
इसके इतर आज तो संचार माध्यमों की प्रकृति अस्थायी है। इसके अपने वाजिब कारण भी हैं हालांकि इसके अलावा अन्य मकसद से भी संचार माध्यम बेतुकी ख़बरें व सूचनाएं सनसनीखेज तरीके से परोसने लगे हैं।
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