"पार्वती": अवतरणों में अंतर

पंक्ति 3:
== पूर्वजन्म की कथा ==
 
पार्वती पूर्वजन्म में [[दक्ष प्रजापति]] की पुत्री [[सती]] थीं तथा उस जन्म में भी वे भगवान [[शंकर]] की ही पत्नी थीं । [[सती]] ने अपने पिता [[दक्ष प्रजापति]] के यज्ञ में, अपने पति का अपमान न सह पाने के कारण, स्वयं को योगाग्नि में भस्म कर दिया था । मृत्यु के समय [[सती]] ने भगवान [[हरि]] से यह वर माँगा कि प्रत्येक जन्म में मेरा शिव जी के चरणों में अनुराग रहे । इसी कारण उन्होंने [[हिमालय]] की पुत्री पार्वती के रूप में पुनर्जन्म लिया । माँ भगवती गौरी is it
 
== पार्वती की तपस्या ==