"कोरियाई भाषा": अवतरणों में अंतर

छो Bot: Migrating 121 interwiki links, now provided by Wikidata on d:q9176 (translate me)
छो Improved sentence and word quality.
पंक्ति 10:
|notice=IPA}}
 
'''कोरियाई भाषा''' [[दक्षिण कोरिया]] और [[उत्तर कोरिया]] की आधिकारिक भाषा है और इसे बोलने वालों की संख्या लगभग ८ करोड़ के लगभग है । इस भाषा का विकास १४४३ ई० में किंगसेजोंग के शासनशासनकाल के दौरानमें हुआ । इस भाषा की लिपि [[हंगुल|हंगल]] (Hangul 한글) है । कोरियन में 한 (हान/Haan) का अर्थ होता है - कोरिया याअथवा महान और 글(गल/गुल/geul) का अर्थ होता है - लिपि। इस प्रकार हंगलहंगुल का अर्थ हुआ - "महान लिपि" याअथवा "कोरियन लिपि"।
 
'''कोरियायी भाषा''' [[अल्टाइक कुल]] की [[भाषा]] है जो [[चीनी भाषा|चीनी]] की भाँति संसार की प्राचीन भाषाओं में गिनी जाती है। चीनी की भाँति हीयह यहभी दाईदाए से बाई ओर को लिखी जाती है। इसका इतिहास [[कोरिया]] के इतिहास की तरह ही 4000 वर्ष प्राचीन है। प्राचीन काल में चीनी लोग कोरिया में जाकर बस गए थे, इसलिये वहाँ की भाषा भी चीनी भाषा से काफी प्रभावित है। [[चीनी भाषा|चीनी]] और कोरियायी के अनेक शब्द मिलते जुलते हैं :
{| class="wikitable" border="1"
|-
पंक्ति 37:
|}
 
उस समय कोरिया के विद्वानों की बोलचाल की भाषा तो कोरियायी थी लेकिन वे लिखतेचीनी थेमें चीनीलिखते में।थे। [[चीनी लिपि]] में लिखी जानेवाली कोरियायी भाषा की लिपि [[हानमून/hanmun]] कही जाती थी। जबतक कोई विद्वान चीनीप्राचीन क्लासिक्सचीनी का ज्ञाता न हो तब तक वह पूरापूर्ण विद्वान नहीं माना जाता था। कोरियायी भाषा अपनेअपनी माधुर्यशिष्टता और कोमलता विनम्रता के लिये प्रसिद्ध है। शिष्टता और विनम्रतासूचक कितने ही आदरवाची शब्द इस भाषा में पाए जाते हैं। कोरिया के लोग अभिवादन के समय "आप शांतिपूर्वक आएँ", "आप शांतिपूर्वक सोएँ" जैसे आदिआदरसूचक शब्दों का प्रयोग करते हैं।
 
== लिपि का सरलीकरण ==
सन् 1446 में कोरिया के राजा सेजोंग ने कोरियायी भाषा को सरल बनाने के लिये एक घोषणा की जिसमें कहा गया कि कोरिया की राष्ट्रभाषा चीनी से भिन्न है और चीनी लिपि से उसकी समानता नहीं है, इसलिये कोरिया की जनता चीनी भाषा के तरीकों को नहीं अपना सकती। इस समय हारगूलहंगुल लिपि में 28 ध्वन्यात्मक अक्षरों का आविष्कारसमावेश हुआ जिनमें 17 व्यंजन और 11 स्वर स्वीकारथे। किएबाद गए। आगे चलकरमे व्यंजनों को घटाकर 14 कर दिया गया। धीरे -धीरे पुस्तकें और अखबार भी इस लिपि में छपने लगे।
 
== व्याकरण ==
कोरियाई भाषा का व्याकरण नियमबद्ध और सरल है। एक ही क्रिया बिना किसी परिवर्तन के अनेक रूपों में प्रयुक्त होती है। कोरियायी की वाक्यरचनावाक्य रचना जापानी की भाँति हैं--
* (क) वाक्यों में सबसे पहले 'कर्ता,' फ़िर 'कर्म' और अंत में 'क्रिया' होती है।
* (ख) विशेषण विशेष्य के पहले आताहोता है,है।
क्रिया आती है,
* (ग) प्राय: संज्ञाओं और क्रियाओं में वचन और पुरु षपुरुष नहीं रहते, है।
* (ख) विशेषण विशेष्य के पहले आता है,
* (ग) प्राय: संज्ञाओं और क्रियाओं में वचन और पुरु ष नहीं रहते,
* (घ) धातु में सहायक धातुओं के प्रत्यय जोड़ने से क्रियारूप बनते हैं।