"ओड़िया भाषा": अवतरणों में अंतर

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ओड़िआ भाषा के प्रथम महान कवि झंकड के [[सारला दास]] थे जिन्होने देवी दुर्गा की स्तुति में [[चंडी पुराण]] और [[विलंका रामायण]] की रचना की थी.थी। अर्जुन दास के द्वारा लिखित राम-विवाह ओड़िआ भाषा की प्रथम दीर्घ कविता है। प्रारंभिक काल के बाद से लगभग १७०० तक के समय को ओड़िआ साहित्य में '''पंचसखा युग''' के नाम से जाना जाता है. इस युग का प्रारंभ श्रीचैतन्य के वैष्ण्ब धर्म के प्रचार से हुआ. बलराम दास, जगन्नाथ दास, यशोवंत दास, अनंत दास एवं अच्युतानंद दास-इन पांचों को पंचसखा कहा जाता है. इस युग के अन्य साहित्यिकों की तरह इनकी रचनाएं भी धर्म पर आधारित थीं. इस काल के रचनाएं प्रायः संस्कृत से अनुवादित की हुई होति थीं या उन्हि पर आधारित होति थीं. अनुवादों में आक्षरिक के अपेक्षा भावानुवाद का प्रचलन ज्यादा था.
 
== स्रोत ==