"संरचनावाद": अवतरणों में अंतर
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एलीज़न एसिस्टर के अनुसार, संरचनावाद से संबंधित चार आम विचार एक 'बौद्धिक प्रवृत्ति' की रचना करते हैं। सबसे पहले, संरचना वह है, जो पूर्णता के प्रत्येक तत्व की स्थिति को निर्धारित करता है। दूसरा, संरचनावादियों का मानना है कि हर प्रणाली की एक संरचना होती है। तीसरा, संरचनावादी 'संरचनात्मक' नियमों में ज्यादा रूचि लेते हैं जो बदलाव की जगह सह-अस्तित्व से संबंधित होते हैं। और आखिर में संरचनाएं वे 'असली वस्तुएं' है जो अर्थ के धरातल या सतह के नीचे विद्यमान रहती हैं।<ref>अस्सिटर, ए 1984, 'ऑल्टहज़र और संरचनावाद,' द ब्रिटिश जर्नल ऑफ सोशियोलॉजी, खंड. 35, नं. 2, ब्लैकवेल प्रकाशन, पीपी.272-296.</ref>
''संरचनावाद'' शब्द को अक्सर एक विशिष्ट प्रकार के मानववादी संरचनावादी विश्लेषण के सन्दर्भ में इस्तेमाल किया जाता है जहां तथ्यों को संकेतों के विज्ञान (यानी संकेतों की एक प्रणाली) से उल्लेखित किया जाता है। महाद्वीपीय दर्शन में इस शब्द का आम तौर पर इसी तरह प्रयोग किया जाता है। हालांकि, इस शब्द का प्रयोग संरचनात्मक दृष्टिकोण के विविध
यह सांस्कृतिक मानदंडों या अन्य व्यक्तिपरक चीज़ों की तुलना में मानव व्यवहार पर अधिक प्रभाव डालता है।"<ref name="Mizruchi">मिज्रूची, मार्क. 1994. "सामाजिक नेटवर्क विश्लेषण: हाल की उपलब्धियां और वर्तमान विवाद". ''एक्टा सोशियोलॉजिका'' (1994)37:329</ref>
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