"इंग्लैंड के हेनरी अष्टम": अवतरणों में अंतर

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ऐसा प्रतीत होता है कि सन 1535 में शेल्टन बहनों में से एक के साथ हेनरी का प्रेम-प्रकरण चल रहा था। परंपरागत रूप से, ऐसा माना जाता रहा है कि यह मार्गारेट ("मैज") थी,<ref>{{cite book|title=The Wives of Henry VIII |first=Antonia |last=Fraser |year=1994 |page=Page 220 |url=http://books.google.com/?id=24UKxUPB5goC |publisher=Vintage Books |isbn=9780679730019}}</ref> लेकिन हालिया शोध इस दावे पर पहुंचा है कि वास्तव में वह मैरी थी।<ref>{{cite book|title=The Lady in the Tower: The Fall of Anne Boleyn|first=Alison|last=Weir|publisher=Random House Publishing Group|isbn=9780345453211|pages=13–14,375}}</ref>
 
== राजा का गंभीर मामला (The King's Great Matter): 1525-1533 ==
{{हेनरी अष्टम की पत्नियाँ}}
{{Henryviiiwives}}
(The King's Great Matter) अर्थात ''राजा का गंभीर मामला'' के नाम से जाना जाने वाला यह मसला हेनरी की वो समस्या थी जिसमें वह अपनी पत्नी कैथरीन से कानूनी अलगाव और उनकी परिचारिका एन बोलिन से विवाह करना चाहते थे। हेनरी उनके द्वारा वांछित पुरुष उत्तराधिकारी को जन्म दे पाने में कैथरिनकैथरीन की अक्षमता के कारण बहुत बेचैन हो गए। उनकी पुत्री [[मैरी १, इंग्लैंड की रानी|राजकुमारी मैरी]] के अलावा, कैथरिनकैथरीन की सभी संतानों की शैशवावस्था में ही मृत्यु हो गई।<ref>लेसी, पृष्ठ 70.</ref> ट्युडर राजवंश की शक्ति को मज़बूत बनाने के लिये हेनरी एक पुरुष उत्तराधिकारी चाहते थे।
 
सन 1525 में, हेनरी और भी अधिक व्याकुल हो गए और रानी के परिचारकों में से एक करिश्माई युवा महिला, एनीएन बोलीन, के प्रति आसक्त हुए.हुए।<ref>स्कैरिसब्रिक, पृष्ठ 154.</ref> प्रारंभ में एनीएन ने उसे बहकाने के हेनरी के प्रयासों का विरोध किया और उनकी प्रेमिका बनना अस्वीकार कर दिया, जैसी उसकी बहन मैरी बोलीन रही थी। उसने कहा कि "महामहिम मैं हाथ जोड़कर विनम्रतापूर्वक आपसे प्रार्थना करती हूं कि आप मुझे छोड़ दें और मेरा यह उत्तर अच्छे इरादे के लिये ही है।" अपनी ईमानदारी का त्याग करने के बजाय मैं अपने जीवन का त्याग कर दूंगी."।<ref>विएर, पृष्ठ 160.</ref> इस इंकार ने हेनरी को और अधिक आकर्षित किया और लगातार वे उसे पाने की कोशिश करते रहे.रहे।
 
अंततः एनीएन ने हेनरी के मोह में अपने लिये एक अवसर देखा और वे इस बात पर अड़ गईं कि वे केवल उनकीइंग्लैंड की स्वीकृत रानी के रूप में ही उनका आलिंगन करेंगी.करेंगी।<ref name="cehen">{{ws|"[[s:Catholic Encyclopedia (1913)/Henry VIII|Henry VIII]]" in the 1913 ''Catholic Encyclopedia''}}</ref> इसके लिये कैथरीन को रानी के पद से हटाना आवश्यक हो गया। जल्द ही यह राजा की तीव्र इच्छा बन गई कि कैथरिनकैथरीन के साथ उनके विवाह को निरस्त किया जाए.जाए।<ref>ब्रिजेन, पृष्ठ 114.</ref>
 
कार्डिनल थॉमस वॉल्सीवूल्सी, जिनसे उन्होंने एनीएन के लिये अपनी योजनाओं को गुप्त रखा था, को बताए बिना हेनरी ने सीधे ही होली सी (Holy See) से प्रार्थना की.की। इसके बजाय, विवाह के निरस्तीकरण का निवेदन करने के लिये हेनरी के सचिव, विलियम नाइट, को [[पोप क्लीमेंट सप्तम]] के पास भेजा गया। इसके लिये आधार यह था कि [[पोप जुलियस द्वितीय]] का आदेश झूठे बहाने से प्राप्त किया गया था क्योंकि अस्वस्थ आर्थर के साथ कैथरिन के संक्षिप्त विवाह में उनके बीच शारीरिक संबंध भी रहे थे। हेनरी ने प्रार्थना की कि विवाह के निरस्तीकरण की स्थिति में उन्हें किसी भी महिला से पुनः विवाह करने की अनुमति दी जाए, भले ही वह संबंध की प्रथम श्रेणी में आती हो और चाहे वह संबंध वैध अथवा अवैध रिश्ते के द्वारा बना हो.हो। यह स्पष्ट रूप से एनीएन बोलीन के संदर्भ में था।<ref name="cehen"/>
[[चित्र:Catherine aragon.jpg|thumb|upright|एरागॉन की कैथरीन, हेनरी अष्टम की पहली रानी थी]]
हालांकि, चूंकि उस समय कैथरिन के भाई, सम्राट चार्ल्स पंचम, द्वारा पोप को बंदी बना लिया गया था, अतः उन तक पहुंच पाना नाइट के लिये कठिन था और वे केवल नए विवाह के लिये सशर्त छूट ही प्राप्त कर सके.सके। अब हेनरी के पास इस मुद्दे को वॉल्सीवूल्सी के हाथों में सौंपने के अलावा कोई विकल्प नहीं बचा था। इस निर्णय को राजा के पक्ष में सुरक्षित करने के लिये वॉल्सीवूल्सी जो कुछ भी कर सकते थे, वह उन्होंने किया, यहां तक कि उन्होंने एक चर्च संबंधी न्यायालय काकी इंग्लैंड में मिलनसुनवाई सभा भी आयोजित किया,की जिसमें पोप का एक प्रतिनिधि भी शामिल था।<ref name="cehen"/> शेक्सपियर के नाटक, ''हेनरी अष्टम (Henry VIII)'', के दूसरे भाग के चौथे दृश्य में उस उल्लेखनीय न्यायालय में एरागॉन की कैथरिन के विस्मयकारी साहस को सटीकता से दर्ज किया गया है। वह, एक दुर्जेय और स्पष्टतः गलत समझी गई महिला, झुककर हेनरी को प्रणाम करती है, स्वयं को उसकी दया पर छोड़ देती है, निरूत्तर कर देने वाली वाक्पटुता के साथ अपनी बात कहती है और तेज़ी से उस अदालत के कमरे से बाहर निकल जाती है। हालांकि, अधिकांशतः इस क्षण ने वहां उपस्थित लोगों और शेष विश्व को उसके पक्ष में मोड़ दिया, लेकिन पोप का कभी भी अपने प्रतिनिधि को शक्ति प्रदान करने का इरादा नहीं रहा था। चार्ल्स पंचम ने अपनी चाची के विवाह के निरस्तीकरण का विरोध किया, लेकिन यह स्पष्ट नहीं है कि पोप पर इसका कितना प्रभाव पड़ा. परंतु यह स्पष्ट है कि हेनरी ने देखा कि सम्राट की चाची से हुए विवाह के लिये उन्हें पोप द्वारा निरस्तीकरण दिया जाना असंभावित था।<ref>मॉरिस, पृष्ठ 166.</ref> पोप ने हेनरी को कोई नया विवाह करने से तब तक के लिये रोक दिया, जब तक कि रोम के न्यायालय में, न कि इंग्लैंड में, कोई निर्णय न दे दिया जाए.जाए। इसकेइस निरस्तीकरण के लिये वॉल्सीवूल्सी को ज़िम्मेदार ठहराया गया। इसवूल्सी बातएक काकैथोलिक विश्वासजबकि होऐन जानेएक प्रोटेस्टैंट विचारधारा वाली ईसाई थी और इंग्लैंड में सुधारवादी आंदोलन के प्रचार-प्रसार के लिये वो प्रमुख पदों पर किआसीन वहकैथोलिकों विश्वासघातीको था,हटाना एनीचाहती थी। एन बोलीन ने हेनरी पर तब तक दबाव बनाए रखा, जब तक कि सन 1529 में वॉल्सीवूल्सी को सार्वजनिक पद से बर्खास्त न कर दिया गया। बर्खास्त कर दिये जाने पर, कार्डिनल ने उससे भीख मांगी कि वह उन्हें पुनः पद पर लौटने में सहायता करे,करने के लिए प्रार्थना की लेकिन उसनेऐन ने इंकार कर दिया.दिया। तब उसने एनीएन को निर्वासन के लिये बाध्य किये जाने की योजना पर कार्य करना शुरु किया और इसके लिये रानी कैथरिन व पोप से संपर्क करना प्रारंभ कर दिया.दिया। जब इस बात का पता चला, तो हेनरी ने वॉल्सीवूल्सी की गिरफ्तारी का आदेश दिया और यदि सन 1530 में बीमारी के चलते उनकी मृत्यु न हो गई होती, तो संभवतः उन्हें राजद्रोह के लिये फांसी दे दी जाती.जाती।<ref>क्रिस्टोफर हैग पृष्ठ.92f</ref> उनके स्थान पर आये सर [[थॉमस मोर]] ने प्रारंभ में राजा की नई नीति के साथ सहयोग करते हुए संसद में वॉल्सीवूल्सी की निंदा की और ऑक्सफोर्ड व कैम्ब्रिज के धर्मशास्रियों के इस मत का समर्थन किया कि कैथरिन के साथ हेनरी का विवाह ग़ैरक़ानूनी था। जब हेनरी ने ऐन के प्रभाव में आकर पोप के प्राधिकार को अस्वीकार करना व सुधारवादी आंदोलनों को बढावा देना शुरु कर दिया, तब कैथोलिक मत वाले मोर का पछतावा बढ़ा.बढ़ा।
 
एक वर्ष बाद, रानी कैथरिन को दरबार से निकाल दिया गया और उसके पुराने कक्ष एनीएन को दे दिये गए। वॉल्सीवूल्सी के न होने के कारण, राजनीतिक मामलों में एनीएन के पास पर्याप्त शक्ति थी। अपने समय के लिहाज से वह एक असामान्य रूप से शिक्षित व बुद्धिमान महिला थी और वह प्रोटेस्टेंट सुधारों के विचारों के प्रति अत्यधिक तल्लीन और सम्मिलित थी। जब कैंटरबरी के आर्चबिशप विलियम वॉरहैम की मृत्यु हो गई, तो एनीएन ने बोलीन परिवार के चैप्लिन, [[थॉमस क्रैनमेर,क्रैनमर]] को इस रिक्त पद पर नियुक्त करवा दिया.दिया। फ्रांस के राजा के हस्तक्षेप के माध्यम से, रोम द्वारा इसे मान्यता दे दी गई और क्लीमेंट ने उन्हें आधिकारिक वस्र (Pallium) प्रदान किया।<ref name="cepop">{{ws|"[[s:Catholic Encyclopedia (1913)/Clement VII|Clement VII]]" in the 1913 ''Catholic Encyclopedia''}}</ref>
 
इंग्लैंड में रोम की शक्ति को तोड़ने का कार्य धीरे-धीरे आगे बढ़ा.बढ़ा। सन 1532 में, एक वकील [[थॉमस क्रॉमवेल]], जो कि एनी के समर्थक थे, ने संसद के समक्ष अनेक कानून प्रस्तुत किये, जिनमें पादरी वर्ग के कानून (Submission of the Clergy) और अधीनता के विरुद्ध याचना (Supplication against the Ordinaries) का कानून भी शामिल था, जो कि चर्च की तुलना में शाही श्रेष्ठता को मान्यता प्रदान करता था। इन कानूनों के बाद, थॉमस मोर ने चांसलर के रूप में अपने पद से त्यागपत्र दे दिया और क्रॉमवेल हेनरी के प्रमुख मंत्री बन गए।<ref>विलियम्स पृष्ठ 136.</ref>
 
=== दूसरा विवाह ===
सन 1532 की सर्दियों में, हेनरी ने फ्रांस के फ्रांसिस प्रथम के साथ कालाइस[[कालाइ, फ्रांस|कालाइ]] में एक मुलाकात आयोजित की, जिसमें उन्होंने अपने नए विवाह के लिये फ्रांसीसी राजा के समर्थन की मांग की.की।<ref>विलियम्स, पृष्ठ 123.</ref> इंग्लैंड के डॉवर[[डोवर]] में लौटने के तुरंत बाद, हेनरी और एनी ने गुप्त रूप से विवाह कर लिया।<ref>स्टार्की, पीपी 462-464.</ref> शीघ्र ही वह गर्भवती हो गई और 25 जनवरी 1533 को लंदन में दूसरी बार वैवाहिक कार्यक्रम हुआ। 23 मई 1533 को, क्रैनमेरक्रैनमर ने, एरागॉन की कैथरिन के साथ हुए राजा के विवाह की वैधता पर निर्णय देने के लिये डन्स्टेबल प्रायरी में आयोजित एक विशेष अदालत में निर्णय देते हुए हेनरी और कैथरिन के विवाह को शून्य व प्रभावहीन घोषित कर दिया.दिया। पांच दिनों बाद, 28 मई 1533 को, क्रैनमेरक्रैनमर ने घोषणा की कि हेनरी व एनीएन का विवाह वैध था।<ref>विलियम्स, पृष्ठ 124.</ref>
 
कैथरिन से औपचारिक रूप से रानी की पदवी छीन ली गई और 1 जून 1533 को एनीएन को रानी का ताज पहनाया गया। 7 सितंबर 1533 को रानी ने, समय से कुछ पहले, एक पुत्री को जन्म दिया.दिया। हेनरी की मातामाँ, यॉर्क की एलिज़ाबेथ, के सम्मान में इस पुत्री का नाम [[एलिज़ाबेथ प्रथम|एलिज़ाबेथ]] रखा गया।<ref>विलियम्स, पीपी.128-131.</ref> पोप के निर्णय को अस्वीकार करते हुए, संसद ने उत्तराधिकार अधिनियम 1533 (Act of Succession 1533) के द्वारा हेनरी और एनीएन के विवाह को मान्यता प्रदान की.की। कैथरिन की पुत्री, राजकुमारी मैरी, को अवैध घोषित कर दिया गया और एनीएन की संतान को उत्तराधिकार की पंक्ति में अगला स्थान दिये जाने की घोषणा की गई। इस घोषणा में एक धारा सबसे उल्लेखनीय थी, जो "किसी भी विदेशी प्राधिकार, राजकुमार या राजा" के आदेश को अस्वीकार करती थी। राज्य के सभी वयस्कोंव्यस्कों के लिये इस कानून के प्रावधानों को शपथपूर्वक स्वीकार करना आवश्यक बना दिया गया;गया। इससे इंकार करनेवाले आजीवन कारावास की सज़ा के पात्र थे। इस विवाह के अवैध होने का आरोप लगाने वाले किसी भी प्रकार के साहित्य का कोई भी प्रकाशक या मुद्रक स्वतः ही उच्च राजद्रोह का दोषी हो जाता और उसे मृत्यु-दंड दिया जा सकता था।
 
== रोम से पृथक्करण: 1533-1540 ==