"दाउद": अवतरणों में अंतर
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हालाँकि दाउद के पास काफ़ी दोष भी थे, पवित्र किताबें उसका ख़ूबसूरत चित्र खींचतीं हैं। वह भी वादक और कवि था। पुराण कहता है कि दाउद ने बहुत पवित्र भजन रचे।
अगर मज़हब-ए-इस्लाम की बात करें तो हज़रात दाउद आलैहीसलाम एक अज़ीम पैग़म्बर हैं और ख़ुदा ने उन्हें किताबें ज़ुहूर की थी जो आज की दुनिया में अलग नाम से जानी जाती है। जब दाउद ख़ुदा की याद में मोहब्बत उस पाक किताब की तिलावत करते थे तो पहाड़ भी कांपते थे और झूमते थे। दाउद के लिए ख़ुदा ने लोहा नरम किया था और उन्हें ऐलान-ए-नबूवत करने को कहा था। दाउद के बेटे हज़रात [[सुलैमान]] ख़ुदा ने बहुत सी ताक़त से नवाज़ा था। दाउद ने एक ख़ुदा की इबादत करने का हुक्म दिया और इंसानियत पत्थर के बने झूठे और नक़ली ख़ुदा की इबादत करने से बचाया था। हज़रात दाउद इस्लाम में एक सच्चे नबी और ख़ुदा के नेक पैग़म्बर हैं।
== परिचय ==
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