"पंचकल्याणक": अवतरणों में अंतर

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* दीक्षा कल्याणक: जब तीर्थंकर सब कुछ त्यागकर वन में जाकर मुनि दीक्षा ग्रहण करते है।
* केवल ज्ञान कल्याणक: जब तीर्थंकर को [[केवल ज्ञान]] की प्राप्ति होती है।
* मोक्ष कल्याणक: जब भगवान शरीर का त्यागकर अर्थात सभी कर्म नष्ट करके निर्वाण/ [[मोक्ष (जैन धर्म)|मोक्ष]] को प्राप्त करते है।
 
इन पाँच कल्याणकों को पंच कल्याणक प्रतिष्ठा महोत्सव के रूप में मनाया जाता है।