"बालकाण्ड": अवतरणों में अंतर
Content deleted Content added
छो 47.30.185.130 (Talk) के संपादनों को हटाकर 14.141.93.130 के आखिरी अवतरण को पूर्ववत क... |
ऑटोमेटिक वर्तनी सु, replaced: किया| → किया। , → (2) |
||
पंक्ति 6:
[[चित्र:Ravi Varma-Rama-breaking-bow.jpg|thumb|right|सीता स्वंयवर (चित्रकार: रवी वर्मा)]]
राजकुमारों के बड़े होने पर आश्रम की राक्षसों से रक्षा हेतु ऋषि विश्वामित्र राजा दशरथ से राम और लक्ष्मण को मांग कर अपने साथ ले गये। राम ने ताड़का और सुबाहु जैसे राक्षसों को मार डाला और मारीच को बिना फल वाले बाण से मार कर समुद्र के पार भेज दिया। उधर लक्ष्मण ने राक्षसों की सारी सेना का संहार कर डाला। धनुषयज्ञ हेतु राजा जनक के निमंत्रण मिलने पर विश्वामित्र राम और लक्ष्मण के साथ उनकी नगरी मिथिला (जनकपुर) आ गये। रास्ते में राम ने गौतम मुनि की स्त्री अहल्या का उद्धार किया। मिथिला में राजा जनक की पुत्री सीता जिन्हें कि जानकी के नाम से भी जाना जाता है का स्वयंवर का भी आयोजन था जहाँ कि जनकप्रतिज्ञा के अनुसार शिवधनुष को तोड़ कर राम ने सीता से विवाह
== संबंधित कड़ियाँ ==
* बालकाण्ड
* [http://dharm.raftaar.in/religion/hinduism/ramayan/balkand बालकाण्ड]
* [[अयोध्याकाण्ड]]
* [[अरण्यकाण्ड]]
|