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'''साहित्येतिहास''' (साहित्य + इतिहास) से आशय [[गद्य]] और [[पद्य]] के रूप में लिखे गये सम्पूर्ण साहित्य के विकास के इतिहास से है। साहित्य के अन्तर्गत वह सब कुछ आ जाता है जो पाठकों/श्रोताओं/दर्शकों को मनोरंजन प्रदान करे, शिक्षा दे या उनका प्रबोधन करे।
 
==साहित्येतिहास लेखन==
साहित्येतिहास लेखन कई क्रमों से होते हुए आगे बढ़ा है। आधुनिक युग में इसको व्यवस्थित सिद्धांत रूप में व्यवहृत करने का श्रेय फ्रेंच विद्वान तेन (Taine) को जाता है । तेन ने अंग्रेजी साहित्येतिहास को समझने हेतु तीन तत्व माने हैं –
 
* जाति (race)
* वातावरण (milieu)
* क्षण विशेष (moment)
 
हडसन ने इसकी आलोचना करते हुए दो तत्वों की उपेक्षा करने की बात कही , वे हैं –
* काव्यसर्जक का व्यक्तित्व
* उसकी प्रतिभा
 
जर्मन के इतिहास विशेषज्ञों ने इसमें तद्युगीन चेतना को जोड़ा और [[मार्क्सवाद|मार्क्सवादियों]] ने द्वन्द्वात्मक भौतिक विकासवाद, [[वर्गसंघर्ष]] एवं आर्थिक परिस्थितियों के सन्दर्भ में इतिहास दर्शन की प्रक्रिया को सुस्पष्ट किया ।
 
==इन्हें भी देखें==