"जोगिंदर नगर": अवतरणों में अंतर

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{{Infobox Indian Jurisdiction |
| नगर का नाम = जोगिंदर नगर
| प्रकार = शहर
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जोगिंदर नगर या जोगिंदर नगर ( [d [o (nd̪ər nəˈɡər] ) (जोगिंदर नगर) भारतीय राज्य हिमाचल प्रदेश में मंडी जिले में एक नगरपालिका परिषद और एक प्रशासनिक उपखंड है । राजा जोगिंदर सेन के नाम पर, पहाड़ी स्टेशन 163 किमी लंबी कांगड़ा घाटी नैरो गेज रेलहेड का टर्मिनल पॉइंट है। जोगिंदर नगर शहर हिमाचल के मंडी जिले का तीसरा सबसे बड़ा शहर है। जोगिंदर नगर एशिया का एकमात्र ऐसा शहर है जिसमें तीन हाइड्रो हैं- बिजली स्टेशनों, और इसलिए पावरहाउस के शहर का नाम दिया।
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===सड़क मार्ग से===
[[राष्ट्रीय राजमार्ग 22]] जोगिंदर नगर से भी गुजरता है.जोगिंदर नगर-सरकाघाट राज्य राजमार्ग इसके माध्यम से भी गुजरता है।
 
==अन्य सूचना==
[[पठानकोट]] से जोगिंदर नगर नैरोगेज़ रेलमार्ग की कुल लम्बाई १६३ किलोमीटर है जिसका निर्माण वर्ष १९२५ में ब्रिटेन से विद्युत् मशीनों हेतु सामग्री लाने के लिए किया गया था। जोगिंदर नगर एशिया का इकलौता नगर है जिसमें एक साथ तीन जल विद्युत् निर्माण गृह स्थापित किये गये हैं (तीसरे विद्युत् गृह "चूल्हा प्रोजेक्ट" का निर्माण अपने अंतिम चरण में प्रवेश कर चुका है)। इसी कारण जोगिंदर नगर को विद्युत् नगर के नाम से भी जाना जाता है।
 
प्रथम चरण का निर्माण कर्नल बी.सी. बैटी के अथक प्रयासों से शानन नामक स्थान पर किया गया था। उन्होंने राजा जोगिंदर सेन के साथ मिलकर तत्कालीन "सकरहट्टी" से पठानकोट तक रेलमार्ग कर निर्माण करवाया था। इसी रेलमार्ग से भारी मशीनें ब्रिटेन से मंगवाई गई। शानन से 'होलेज वे' का निर्माण बरोट तक किया गया जहाँ उहल नदी से पानी को एकत्र करके बड़े जलाशय का निर्माण करवाया गया था। इसके उपरांत विभिन्न सुरंगों का निर्माण करते हुए विपरीत परिस्थितियों में बड़ी पाइपों को जोड़ कर शानन की प्रस्तावित निर्माण स्थली तक पहुँचाया गया। इस जलविद्युत परियोजना की कुल क्षमता ११० मेगावाट है।
 
== बाहरी कड़ियाँ ==