"शनि (ज्योतिष)": अवतरणों में अंतर

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:करत पाठ चालीस दिन, हो भवसागर पार।।
 
:;।। इति राम सुन्दर कृत श्री शनि चालीस सम्पूर्णम् ।।
 
== शनिवज्रपञ्जर-कवचम् ==