"मैथिलीशरण गुप्त": अवतरणों में अंतर

[अनिरीक्षित अवतरण][अनिरीक्षित अवतरण]
No edit summary
टैग: मोबाइल संपादन मोबाइल वेब संपादन
No edit summary
पंक्ति 111:
:'' जाग रहा यह कौन धनुर्धर, जब कि भुवन भर सोता है?
:'' भोगी कुसुमायुध योगी-सा, बना दृष्टिगत होता है॥
 
==सन्दर्भ==
{{टिप्पणीसूची}}
 
== टीका-टिप्पणी ==
<div style=font-size:90%;>
&nbsp;&nbsp;&nbsp;'''क.'''&nbsp;&nbsp;&nbsp; {{Note_label|त्रिपथगा|क|none}}महाभारत कथानक के आधार पर लिखे तीन खंडकाव्य ''वन-वैभव'', ''वकसंहार'' और ''सैरन्ध्री'' '''''त्रिपथगा''''' नामक ग्रन्थ में संग्रहीत हैं।
<div style=font-size:90%;> &nbsp;&nbsp;&nbsp;'''ख.'''&nbsp;&nbsp;&nbsp; {{Note_label|दिवोदास|ख|none}} '''''दिवोदास''''' ''पृथ्वीपुत्र'' का एक अंश है।
<div style=font-size:90%;> &nbsp;&nbsp;&nbsp;'''ग.'''&nbsp;&nbsp;&nbsp; {{Note_label|लीला|ग|none}} ''साकेत'' महाकाव्य रामायण की कथानक की पूर्ति हेतु '''''लीला''''' की रचना हुई।
 
== इन्हें भी देखें ==
Line 132 ⟶ 141:
[[श्रेणी:हिन्दी कवि]]
[[श्रेणी:उत्तर प्रदेश के कवि]]
 
== टीका-टिप्पणी ==
<div style=font-size:90%;>
&nbsp;&nbsp;&nbsp;'''क.'''&nbsp;&nbsp;&nbsp; {{Note_label|त्रिपथगा|क|none}}महाभारत कथानक के आधार पर लिखे तीन खंडकाव्य ''वन-वैभव'', ''वकसंहार'' और ''सैरन्ध्री'' '''''त्रिपथगा''''' नामक ग्रन्थ में संग्रहीत हैं।
<div style=font-size:90%;> &nbsp;&nbsp;&nbsp;'''ख.'''&nbsp;&nbsp;&nbsp; {{Note_label|दिवोदास|ख|none}} '''''दिवोदास''''' ''पृथ्वीपुत्र'' का एक अंश है।
<div style=font-size:90%;> &nbsp;&nbsp;&nbsp;'''ग.'''&nbsp;&nbsp;&nbsp; {{Note_label|लीला|ग|none}} ''साकेत'' महाकाव्य रामायण की कथानक की पूर्ति हेतु '''''लीला''''' की रचना हुई।