"ईसा इब्न मरियम": अवतरणों में अंतर
Content deleted Content added
No edit summary टैग: यथादृश्य संपादिका मोबाइल संपादन मोबाइल वेब संपादन |
संजीव कुमार (वार्ता | योगदान) छो 2405:204:A39A:8315:9261:3DE4:8DCC:E850 (Talk) के संपादनों को हटाकर 47.8.220.99 के आखिरी अवतरण को पूर्ववत किया टैग: वापस लिया |
||
पंक्ति 52:
[[क़ुरान]] में ईसा का नाम 25 बार आया है। [[सुराह मरियम]] में इनके जन्म की कथा है और इसी तरह सुराह अलि इमरान में भी। क़ुरान में ईसा का ज़िक्र, मुहम्मद से भी अधिक है।
== इस्लाम के अनुसार, ईसा की मृत्यु एवं धरती से प्रस्थान ==
[[इस्लाम|इ]]<nowiki/>नना है कि [[कुरान]] की इन आयतों में, जिनमें मसीह की मृत्यु का उल्लेख है, वह केवल बामुहावरा है। अधिनांश उलेमा का कहना है कि मसीह के क्रूस पर नहीं चढ़ाया गया था, बल्कि उन्हें जन्नत में उठा लिया गया। जबकि कुछ अन्य उलेमा का मानना है कि उनको मृत्यु के बाद, ईश्वर द्वारा पुनः जीवित किया गया और फिर [[जन्नत]] ले जाया गया। लेकिन इस पर सभी मुसलमान उलेमा की सहमति है कि मसीह [[क़यामत]] समय, पुनः धरती पर आएंगे और ईश्वर की इच्छा के अनुसार धरती पर [[इस्लाम]] लागु करेंगे।
==इन्हें भी देखें==
|