भारत मे बहाईं धर्म के विवरण के अंतर्गत विस्तृत जानकारी जोड़ी गयी है जो की पूर्णत: आधिकारिक वेबसाइट www.bahai.in से ली गयी है ,कुछ गलत जानकारी भी हटा दी गयी है - swati das , email- swatidasbahai@gmail.com
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[[चित्र:Abdulbaha.jpg|right|thumb|300px|अब्दुल बहा, युगावतार बहाउल्लाह के ज्येष्ठ पुत्र]]
 
'''बहाई धर्म'''
'''बहाई पंथ''' 19वीं सदी के [[ईरान]] में शुरू हुआ एक स्वतंत्ररधर्म है। यह सभी धर्मो को मान्यता देता है । इसकी स्थापना युगावतार [[बहाउल्लाह]] ने की थी। यह [[एकेश्वरवाद]] और विश्व भर के विभिन्न धर्मों और पंथों की एकमात्र आधारशिला पर ज़ोर देता है। इस धर्म के अनुयायी बहाउल्लाह को पूर्व के अवतारों [[मूसा]], [[यीशु|ईसा]], [[मुहम्मद]], आदि की वापसी मानते हैं। [[किताब-ए-अक़दस]] बहाइयों का मुख्य धार्मिक ग्रन्थ है।
 
'''बहाई पंथ''' 19वीं सदी के [[ईरान]] में शुरू हुआ एक स्वतंत्ररधर्मस्वतंत्र है।धर्म है, (यह किसी भी अन्य धर्म कि शाखा नहीं है)। यह सभी धर्मो को मान्यता देता है । इसकी स्थापना युगावतार [[बहाउल्लाह]] ने की थी। यह [[एकेश्वरवाद]] और विश्व भर के विभिन्न धर्मों और पंथों की एकमात्र आधारशिला पर ज़ोर देता है। इस धर्म के अनुयायी बहाउल्लाह को पूर्व के अवतारों [[मूसा]]बुद्ध , कृष्ण, [[यीशु|ईसा]], [[मूसा, जर्थुस्त्र, मुहम्मद]] , आदि की वापसी मानते हैं। [[किताब-ए-अक़दस]] बहाइयों का मुख्य धार्मिक ग्रन्थ है।
 
बहाई मतों के मुताबिक दुनिया के सभी मानव धर्मों का एक ही मूल है। इसके अनुसार कई लोगों ने ईश्वर का संदेश इंसानों तक पहुँचाने के लिए नए धर्मों का प्रतिपादन किया जो उस समय और परिवेश के लिए उपयुक्त था। बहाउल्लाह को कल्कि अवतार के रूप में माना जाता है जो सम्पूर्ण विश्व को एक करने हेतु आएं है और जिनका उद्देश्य और सन्देश है " समस्त पृथ्वी एक देश है और मानवजाति इसकी नागरिक"।
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== प्रार्थना सभाएँ==
प्रार्थना ईश्वर के साथ वार्तालाप होती है । वार्तालाप का अर्थ होता है बात-चीत । जब हम प्रार्थना करते है तब हम ईश्वर से बात-चीत करते है । प्रार्थना हमारी आत्मा का भोजन होती है । प्रार्थना सभाओं मे सभी लोग साथ मिलकर प्रार्थना करते है , भजन करते है और ईश्वर को याद कराते है । इन सभाओं में ईश्वरीय पवित्र वाणी का पाठ, प्रार्थनाएँ और भजन सस्वर लिए जाते हैं। ये प्रार्थना सभाएँ किसी के भी घर या स्थान पर आयोजित की जा सकती है, ये उस स्थान, घर, व्यक्तियों को आध्यात्मिक ऊर्जा से भर देती है तथा ईश कृपा को आकर्षित करती है। प्रत्येक महाद्वीप में बहाई समुदाय के अनुयायी विभिन्न धर्म एवं जाति के लोगो के साथ प्रार्थना में जुड़ रहे हैं और अपने हृदयों को अपने सृजनकर्ता की ओर उन्मुख कर रहे हैं तथा आध्यात्मिक शक्तियों का आह्वान कर रहे हैं। बहाई धर्म के लोग मानते है कि प्रार्थना ईश्वर के साथ वार्तालाप है। प्रार्थना निस्वार्थ भावना से कि जानी चाहिए ताकि हमारी प्रार्थना ईश्वर द्वारा स्वीकार की जा सके।
 
=== बच्चों की नैतिक शिक्षा कार्यक्रम (१० वर्षों तक के बच्चों के लिए)===