"उपप्रधानमंत्री": अवतरणों में अंतर

संवैधानिक
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[[भारत]] का उपप्रधानमंत्री [[भारत सरकार]] की [[कैबिनेट (सरकार)|कैबिनेट]] का एक सदस्य होता है। यह पद, [[संवैधानिक पद]] नहीं है और प्रायः अपने आप में कोई विशिष्ट शक्तियाँ नहीं रखता। सामान्यतः उपप्रधानमंत्री कोई अन्य महत्वपूर्ण विभाग भी रखता है, जैसे- [[गृह मंत्रालय, भारत सरकार|गृहमंत्री]] या [[वित्त मंत्री]]। इस पद का उपयोग प्रायः सरकार द्वारा राजनीतिक स्थायित्व सुनिश्चित करने के लिए किया जाता है (क्योंकि [[भारतीयभारत का संविधान|संविधान]] ने [[प्रधानमन्त्री|प्रधानमंत्री]] को "समानों में प्रथम" कहा है, अतः शक्ति संतुलन हेतु)। अथवा [[आपात्काल]] में भी इस पद पर नियुक्ति की जा सकती है, जबकि अनुदेश रेखा को स्पष्टतः परिभाषित करना जरूरी हो जाता है।
 
भारत के प्रथम उपप्रधानमंत्री [[वल्लभ भाई पटेल|सरदार वल्लभभाई पटेल]] थे। इस पद पर अब तक के अंतिम व्यक्ति श्री [[लालकृष्ण आडवाणी]] थे। वर्तमान सरकार में कोई उपप्रधानमंत्री नहीं है। वस्तुतः उपप्रधानमंत्री के पास केवल यह शक्ति है कि वह प्रधानमंत्री की अनुपस्थिति में कैबिनेट की बैठकों की अध्यक्षता करता है। केवल तभी वह प्रधानमंत्री का कार्यभार ग्रहण करता है जबकि प्रधानमंत्री गंभीर रूप से बीमार हो, अक्षम हो या उसकी मृत्यु हो जाये।