"मुरुद जंजीरा किला": अवतरणों में अंतर

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[[चित्र:Janjira_Fort_bastions_3.jpg|thumb|मुरुद-जंजीरा]]
मुरुद-जंजीरा [[भारत]] के [[महाराष्ट्र]] राज्य के [[रायगढ़ जिला, महाराष्ट्र|रायगड]] जिले के तटीय गाँव [[मुरुद जंजीरा|मुरुड]] में स्थित एक [[किला]] हैं। यह भारत के पश्चिमी तट का एक मात्र किला हैं, जो की कभी भी जीता नही
जा सका था। यह किला 350 वर्ष पुराना है। स्‍थानीय लोग इसे अजेय किला कहते हैं, जिसका शाब्दिक अर्थ अजेय होता है। माना जाता है कि यह किला पंच पीर पंजातन शाह बांडया बाबा के संरक्षण में है। शाह बाबा का मकबरा भी इसी किले में है। यह किला समुद्र तल से 90 फीट ऊंचा है। इसकी नींव 20 फीट गहरी है। यह किला सिद्दी जौहर द्वारा बनवाया गया था। इस किले का निर्माण 22 वर्षों में हुआ था। यह किला 22 एकड़ में फैला हुआ है। इसमें 22 सुरक्षा चौकियां है। ब्रिटिश, पुर्तगाली, शिवाजी महाराज , कान्‍होजी आंग्रे, चिम्‍माजी अप्‍पा तथा संभाजी महाराजने इस किले को जीतने का काफी प्रयास किया था, लेकिन कोई सफल नहीं हो सका। इस किले में सिद्दिकी शासकों की कई तोपें अभी भी रखी हुई हैं।