"अन्नपूर्णा मंदिर, वाराणसी": अवतरणों में अंतर

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[[चित्र:Annapurnashiva.jpg|thumb|right|200px|अन्नपूर्णामाता]]
[[वाराणसी|बनारस]] में [[काशी विश्वनाथ मन्दिर|काशी विश्‍वनाथ मंदिर]] से कुछ ही दूरी पर माता [[अन्नपूर्णा|अन्‍नपूर्णा]] का मंदिर है। इन्‍हें तीनों लोकों की माता माना जाता है। कहा जाता है कि इन्‍होंने स्‍वयं भगवान शिव को खाना खिलाया था। इस मंदिर की दीवाल पर चित्र बने हुए हैं। एक चित्र में देवी कलछी पकड़ी हुई हैं। अन्नपूर्णा मंदिर के प्रांगण में कुछ एक मूर्तियाँ स्थापित है,जिनमें माँ काली,शंकर पार्वती,और नरसिंह भगवान का मंदिर है। अन्नकूट महोत्सव पर माँ अन्नपूर्णा का स्वर्ण प्रतिमा एक दिन के लिऐ भक्त दर्शन कर सकतें हैं। अन्नपूर्णा देवी का संबंध उज्जैन के हरसिद्धि मंदिर से भी माना जाता है । अन्नपूर्णा मंदिर में आदि शंकराचार्य ने अन्नपूर्णा स्तोत्र रचना कर ज्ञान वैराग्य प्राप्ति की कामना की थी। यथा।. अन्नपूर्णे सदापूर्णे शंकरप्राण बल्लभे,ज्ञान वैराग्य सिद्धर्थं भिक्षां देहि च पार्वती।
 
{{वाराणासी}}