"विषाणु": अवतरणों में अंतर
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विषाणु, लाभप्रद एवं हानिकारक दोनों प्रकार के होते हैं। [[जीवाणु भोजी|जीवाणुभोजी विषाणु]] एक लाभप्रद विषाणु है, यह [[हैजा]], [[पेचिश]], [[आंत्र ज्वर|टायफायड]] आदि रोग उत्पन्न करने वाले [[जीवाणु|जीवाणुओं]] को नष्ट कर मानव की रोगों से रक्षा करता है। कुछ विषाणु पौधे या जन्तुओं में रोग उत्पन्न करते हैं एवं हानिप्रद होते हैं। [[एचआइवी|एचआईवी]], [[इन्फ्लुएन्जा ए वाइरस|इन्फ्लूएन्जा वाइरस]], [[पोलियो वाइरस]] रोग उत्पन्न करने वाले प्रमुख विषाणु हैं। सम्पर्क द्वारा, वायु द्वारा, भोजन एवं जल द्वारा तथा कीटों द्वारा विषाणुओं का संचरण होता है परन्तु विशिष्ट प्रकार के विषाणु विशिष्ट विधियों द्वारा संचरण करते हैं।
"वायरस कोशिका के बाहर तो
'''विषाणु के प्रकार''' :- परपोषी प्रकति के अनुसार विषाणु तीन प्रकार के होते हैं।
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