"विश्व हिंदू परिषद": अवतरणों में अंतर

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== इतिहास ==
विश्व हिन्दू परिषद की स्थापना 1964 में हुई। इसके संस्थापकों में [[स्वामी चिन्मयानंद]], एसएस आप्टे, मास्टर तारा हिंद थे। पहली बार 21 मई 1964 में [[मुंबई]] के संदीपनी साधनाशाला में एक सम्मेलन हुआ। सम्मेलन आरएसएस सरसंघचालक [[माधव सदाशिव गोलवलकर]] ने बुलाई थी। इस सम्मेलन में [[हिंदू]], [[सिख]], [[जैन]] और [[बौद्ध]] के कई प्रतिनिधि मौजूद थे। सम्मेलन में गोलवलकर ने कहा कि भारत के सभी मताबलंवियों को एकजुट होने की जरूरत है। उन्होंने कहा कि हिंदू हिंदूस्तानियों के लिए प्रयुक्त होने वाला शब्द है और यह धर्मों से ऊपर है।<ref name="rss founders">[http://www.hindustantimes.com/StoryPage/StoryPage.aspx?id=c9058d8c-f3e6-4b55-9e0a-836fd43534fa&ParentID=173c4c85-f6ce-49cc-92cc-33afa7bc2283&&Headline=A+lethal+cocktail+of+religion+and+politics A lethal cocktail of religion & politics] हिन्दुस्तान टाइम्स – 27 जुलाई 2007</ref>
सम्मेलन में तय हुआ कि प्रस्तावित संगठन का नाम विश्व हिंदू परिषद होगा और 1966 के प्रयाग के [[कुंभ मेला|कुंभ मेले]] में एक विश्व सम्मेलन के साथ ही इस संगठन का स्वरूप सामने आया। आगे यह फैसला किया गया कि यह गैर-राजनीतिक संगठन होगा और राजनीतिक पार्टी का अधिकारी विश्व हिंदू परिषद का अधिकारी नहीं होगा। संगठन के उद्देश्य और लक्ष्य कुछ इस तरह तय किए गए:
# हिंदू समाज को मजबूत करना
# हिंदू जीवन दर्शन और आध्यात्म की रक्षा, संवर्द्धन और प्रचार
# विदेशों में रहनेवाले हिंदुओं से तालमेल रखना, हिंदू और हिंदुत्व की रक्षा के लिए उन्हें संगठित करना और मदद करना
 
<ref name="rss founders">[http://www.hindustantimes.com/StoryPage/StoryPage.aspx?id=c9058d8c-f3e6-4b55-9e0a-836fd43534fa&ParentID=173c4c85-f6ce-49cc-92cc-33afa7bc2283&&Headline=A+lethal+cocktail+of+religion+and+politics A lethal cocktail of religion & politics] हिन्दुस्तान टाइम्स – 27 जुलाई 2007</ref>
 
== प्रकल्प ==
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*ग्रामविकास योजना
*रोजगार प्रशिक्षण उपक्रम
 
== जाती परस्पर समन्वय =,विजय कुमार सिंह =
सम्मेलन में तय हुआ कि प्रस्तावित संगठन का नाम विश्व हिंदू परिषद होगा और 1966 के प्रयाग के [[कुंभ मेला|कुंभ मेले]] में एक विश्व सम्मेलन के साथ ही इस संगठन का स्वरूप सामने आया। आगे यह फैसला किया गया कि यह गैर-राजनीतिक संगठन होगा और राजनीतिक पार्टी का अधिकारी विश्व हिंदू परिषद का अधिकारी नहीं होगा। संगठन के उद्देश्य और लक्ष्य कुछ इस तरह तय किए गए:
# हिंदू समाज को मजबूत करना
# हिंदू जीवन दर्शन और आध्यात्म की रक्षा, संवर्द्धन और प्रचार
# विदेशों में रहनेवाले हिंदुओं से तालमेल रखना, हिंदू और हिंदुत्व की रक्षा के लिए उन्हें संगठित करना और मदद करना
 
== इन्हें भी देखें ==