"धातु (संस्कृत के क्रिया शब्द)": अवतरणों में अंतर

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|-
!प्रथम पुरुष
|ष्यति
|स्यति
|ष्यतम् (ष्यतः)
|स्यतम् (स्यतः)
|ष्यन्ति
|स्यन्ति
|-
!मध्यम पुरुष
|ष्यसि
|स्यसि
|ष्यथस् (ष्यथः)
|स्यथस् (स्यथः)
|ष्यथ
|स्यथ
|-
!उत्तम पुरुष
|ष्यामि
|स्यामि
|ष्यावः
|स्यावः
|ष्यामः
|स्यामः
|}
सामान्य भविष्यत्भविष्य काल के लिए लृट् लकार का प्रयोग किया जाता है। जहाँ भविष्यत्भविष्य काल की कोई विशेषता न कही जाए वहाँ लृट् लकार ही होता है। कल, परसों आदि विशेषण न लगे हों। भले ही घटना दो पल बाद की हो अथवा वर्ष भर बाद की, बिना किसी विशेषण वाले भविष्यत् में लृट् का प्रयोग करना है। ‘आज होगा’ – इस प्रकार के वाक्यों में भी लृट् होगा।
{| class="wikitable"
|+५. लोट् लकार (अनुज्ञा, Imperative Mood)