"माइक्रोसॉफ्ट विंडोज़": अवतरणों में अंतर

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माइक्रोसॉफ्ट ने Windows 10 को Windows 8.1 के उत्तराधिकारी के रूप में घोषित किया। इसे 2015 को रिलीज़ किया गया था, और पहले विंडोज 8 के साथ यूजर इंटरफेस में कमियों को संबोधित किया गया था। परिवर्तनों में स्टार्ट मेनू की वापसी, एक वर्चुअल डेस्कटॉप सिस्टम और विंडोज स्टोर ऐप को डेस्कटॉप पर खिड़कियों के भीतर चलाने की क्षमता शामिल है पूर्ण स्क्रीन मोड की तुलना में।
 
 
= ऑपरेटिंग सिस्टम के प्रकार (Types of Operating System) =
आज हर ओर [https://www.infoinhindi.me/2020/07/what-is-computer-hindi.html '''कम्प्यूटर'''] का ही बोलबाला है। हर क्षेत्र में ही कम्प्यूटर का प्रयोग हो रहा है। स्पष्ट है कि कम्प्यूटरो की कई किस्में हैं और उनपर उपयोग होनेवाले सॉफ्टवेयर भी अलग-अलग है। इसी प्रकार ऑपरेटिंग सिस्टम भी अलग-अलग प्रकार के हैं। अलग-अलग प्रकार के ऑपरेटिंग सिस्टम को डिज़ाइन करने के पीछे अलग-अलग प्रकार की आवश्यकताएँ हैं | आइये इस खण्ड में हम यह समझते हैं कि '''[https://www.infoinhindi.me/2020/11/operating-system-hindi.html ऑपरेटिंग सिस्टम] के विभिन्न प्रकार क्या हैं ? (What are different types of operating system?)'''
 
ऑपरेटिंग सिस्टम आवश्यकताओं की विविधता के आधार पर मुख्य चार या पाँच प्रकार के होते हैं। यह प्रकार सिंगल यूजर ऑपरेटिंग सिस्टम, मल्टी यूजर/मल्टीटास्किंग ऑपरेटिंग सिस्टम, मल्टी प्रोसेसिंग ऑपरेटिंग सिस्टम, रियल टाइम ऑपरेटिंग सिस्टम और बैच प्रोसेसिंग ऑपरेटिंग सिस्टम हैं |
 
== सिंगल यूजर सिस्टम (Single User System) ==
सिंगल यूजर ऑपरेटिंग सिस्टम वह ऑपरेटिंग सिस्टम होता है जिसमें केवल एक [https://www.infoinhindi.me/2020/09/what-is-programming-language-hindi.html '''प्रोग्राम'''] एक बार में एक्जिक्यूट (execute) होता है। पहले समय के अधिकांश ऑपरेटिंग सिस्टम सिंगल यूजर होते थे और आजकल के अधिकांश माइक्रो कम्प्यूटरों में भी सिंगल यूजर (Single User) ऑपरेटिंग सिस्टम का ही प्रयोग किया जाता है। इस प्रकार के ऑपरेटिंग सिस्टम को हम सिंगल यूजर / सिंगल टास्किंग ऑपरेटिंग सिस्टम भी कहते हैं ।
 
इस ऑपरेटिंग सिस्टम में एक समस्या यह है कि इसमें एक से अधिक प्रोग्राम एक बार में एक्जिक्यूट नहीं किये जा सकते हैं। इसलिये इस सिस्टम में प्रोग्राम एक लाइन में व्यवस्थित रहते हैं।
 
एक कम्प्यूटर सिस्टम एक प्रोग्राम को तुरन्त स्वीकार (accept) नहीं करता है जब तक कि उसकी पहचान न हो। इसके लिये सूचनाओं का साथ होना बहुत जरूरी है जिससे कि उस प्रोग्राम को पहचाना जा सके। अन्य पेरीफेरल डिवाइसेज भी प्रोग्राम एक्जिक्यूट करने के लिये इन सूचनाओं की मांग करते हैं। ये सारे निर्देश एक विशेष जॉब कन्ट्रोल भाषा ( Job Control Language) में लिखे जाते हैं जिसे ऑपरेटिंग सिस्टम समझता है।
 
सिंगल यूजर ऑपरेटिंग सिस्टम वस्तुततः दो प्रकार के होते हैं। पहला सिंगल यूजर सिंगल टास्किंग आपरेटिंग सिस्टम जो एक ही यूजर तथा एक ही प्रोग्राम को एक समय में एक्जिक्यूट होने की अनुमति देते हैं। दूसरा सिंगल यूजर मल्टीटास्किंग ऑपरेटिंग सिस्टम जो एक सिस्टम पर एक ही यूजर को एक से अधिक प्रोग्राम को एक्जिक्यूट करने की अनुमति देते हैं । एम0 एस0 डॉस वास्तविक रूप से सिंगल यूजर सिंगल टास्किंग ऑपरेटिंग सिस्टम था जबकि विण्डोज ऑपरेटिंग सिस्टम सिंगल यूजर मल्टीटास्किंग ऑपरेटिंग सिस्टम है ।
 
== <small>मल्टीयूजर/मल्टीटास्किंग ऑपरेटिंग सिस्टम (Multi-User/Multitasking Operating System)</small> ==
मल्टीयूजर/मल्टीटास्किंग ऑपरेटिंग सिस्टम वह ऑपरेटिंग सिस्टम है जो एक से अधिक यूजर्स को एक से अधिक [https://www.infoinhindi.me/2020/09/what-is-programming-language-hindi.html '''प्रोग्रम'''] को चलाने की अनुमति देता है । इस प्रकार के ऑपरेटिंग सिस्टम का साधारणतः प्रयोग तब होता है जब हम किसी [https://www.infoinhindi.me/2020/09/what-is-network-in-hindi.html '''नेटवर्क'''] पर कार्य कर रहे होते हैं। इस ऑपरेटिंग सिस्टम पर प्रत्येक यूजर के लिए एक यूर्जस एनवायरमेंट (environment) होता है जिसे यूजर सेशन (User Session) कहते हैं। प्रत्येक यूजर के एप्लीकेशन [https://www.infoinhindi.me/2020/09/types-of-servers-hindi.html '''सर्वर'''] पर उनके अपने यूजर सेशन एक्जिक्यूट होते हैं जो अन्य यूजर सेशन से बिल्कुल अलग होते हैं। मल्टी यूजर/मल्टीटास्किंग ऑपरेटिंग सिस्टम इन्वायरमेंट में सभी या अधिकतर कम्प्यूटिंग सर्वर पर होती है। यूनिक्स लाइनक्स तथा मेनफेस आपरेटिंग सिस्टम जैसे एम0 वी0 एस0 (MVS) इसके उदाहरण हैं।
 
== मल्टी प्रोसेसिंग ऑपरेटिंग सिस्टम (Multi Processing Operating System) ==
मल्टी प्रोसेसिंग शब्द का प्रयोग प्रोसेसिंग (Processing) दृष्टिकोण (view) को स्पष्ट करने के लिये किया जाता है जहाँ पर दो तथा दो से अधिक प्रोसेसर (Processor) एक दूसरे से जुड़े रहते हैं। इस प्रकार के सिस्टम (System) में भिन्न तथा स्वतंत्र प्रोग्रामों के निर्देश एक ही समय में एक से अधिक प्रोसेसर्स द्वारा एक्जिक्यूट किये जाते हैं या प्रोसेसर्स द्वारा विभिन्न निर्देशों का एक्जिक्यूशन एक के बाद एक किया जाता है जो कि एक ही प्रोग्राम से प्राप्त हए हों। यह ऑपरेटिंग सिस्टम का ही कार्य है कि वह इनपुट, आउटपुट तथा प्रोसेसिंग क्षमताओं के बीच अच्छा तालमेल स्थापित करे। मल्टीप्रोसेसिंग (Multiprocessing) दृष्टिकोण (view) को चित्र में स्पष्ट किया गया है।
 
इस प्रकार हम कह सकते हैं कि मल्टीप्रोसेसिंग का प्रयोग आपस में जुड़े हुए कम्प्यूटरों, जिनमें दो या दो से अधिक सी.पी.यू. लगे हों तथा उनमें यह क्षमता हो कि वह विभिन्न प्रोग्रामों का एक्जिक्यूशन एक साथ कर सकें, में होता है।
 
मल्टीप्रोसेसिंग से कम्प्यूटर की कार्यक्षमता में वृद्धि होती है। यह तकनीक पैरेलल प्रोसेसिंग (Parallel Processing) को सहायता प्रदान करती है तथा इस तकनीक में एक सी.पी.यू. खराब होने पर दूसरे सी.पी.यू. द्वारा कार्य किया जा सकता है।
 
== बैच प्रोसेसिंग ऑपरेटिंग सिस्टम (Batch Processing Operating System) ==
बैच प्रोसेसिंग एक बहुत पुराना तरीका है जिसके माध्यम से विभिन्न प्रोग्रामों को एक्जिक्यूट किया जा सकता है और इसका प्रयोग विभिन्न डाटा प्रोसेसिंग सेंटर (Data Processing Center) पर फंक्शन्स (functions) को एक्जिक्यूट करने के लिये किया जाता है। ऑपरेटिंग सिस्टम की यह तकनीक ऑटोमैटिक जॉब-परिवर्तन के सिद्धान्त पर निर्भर है। यही सिद्धान्त अधिकांश ऑपरेटिंग सिस्टमों द्वारा प्रदान किया जाता है। इस प्रकार के ऑपरेटिंग सिस्टम में प्रत्येक यूजर अपने प्रोग्राम को ऑफ लाइन तैयार करता है तथा कार्य पूरा हो जाने पर उसे डाटा प्रोसेसिंग सेन्टर पर जमा (submit) करा देता है। एक कम्प्यूटर ऑपरेटर उन सारे प्रोग्रामों को एकत्र करता है जो एक कार्ड पर पंच रहते हैं। जब आपरेटर प्रोग्रामों के बैच को एकत्र कर लेता है। वह उस बैच को कम्प्यूटर में लोड कर देता है तथा फिर उन प्रोग्रामों को एक-एक करके एक्जिक्यूट किया जाता है। अन्त में ऑपरेटर उन कार्यों के प्रिन्टेड आउटपुट को प्राप्त करता है तथा उन आउटपुटों को सम्बन्धित यूजर्स को प्रदान कर दिया जाता है।
 
बैच प्रोसेसिंग (Batch processing) को हम सिरियल, सिक्वेन्शियल, ऑफ लाइन एण्ड स्टैक्ड जॉब प्रोसेसिंग भी कहते हैं। जब कम्प्यूटर का इस तकनीक के लिये प्रयोग किया जाता है तथा इनपुट डाटा को एक्जिक्यूट करने के लिये आपरेटरों के हस्तक्षेप की आवश्यकता नहीं होती है तो यह कार्य स्वतः ही हो जाता है। इसमें बहुत-से अलग-अलग कार्य एक ही समय में एक-एक करके एक्जिक्यूट किये जाते हैं। परन्तु इसमें प्रोग्राम एक्जिक्यूशन के दौरान ऑपरेटर के हस्तक्षेप की आवश्यकता नहीं पड़ती है।
 
== रिअल टाइम ऑपरेटिंग सिस्टम (Real Time Operating System) ==
रिअल टाइम [https://www.infoinhindi.me/2020/11/operating-system-hindi.html '''ऑपरेटिंग सिस्टम'''] बहुत तेज तथा अपेक्षाकृत छोटे ऑपरेटिंग सिस्टम होते हैं । इस प्रकार के ऑपरेटिंग सिस्टम अक्सर इम्बेडेड (embedded) होते हैं तथा केवल एक ही कार्य के लिए डिजायन किये गये होते हैं । इनका उपयोग सामान्यतः मेडिकल जाँच उपकरण, लाइफ सपोर्ट सिस्टम, वैज्ञानिक उपकरण, औद्योगिक रोबोट तथा मोबाइल फोन जैसे उपकरणे में होता है ।
 
रिअल टाइम ऑपरेटिंग सिस्टम को रिअल टाइम कम्पयूटिंग (real time computing) के लिए डिजायन किया जाता है। रिअल टाइम कम्प्यूटिंग का मतलब कम्प्यूटिंग को बिल्कुल नियत समय पर करना होता है । यह सिंगल तथा मल्टी टास्किंग दोनों हो सकता है । रिअल ऑपरेटिंग पर चल रही एप्लीकेशन को कुछ मिली सेकण्ड (एक सेकण्ड का हजारवाँ भाग) या माइक्रो सेकण्ड (एक सेकण्ड का दस लाखवाँ भाग) में ही कार्य सम्पन्न करना होता है।
 
===संस्करण इतिहास===