"सत्यजित राय": अवतरणों में अंतर

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| id = <http://www.britannica.com/eb/article-9062818>
| accessmonth = [[१ अप्रैल]],
| accessyear = [[२००७]]}}</ref> इनका जन्म [[कला]] और [[साहित्य]] के जगत में जाने-माने [[कोलकाता]] (तब कलकत्ता) के एक [[बंगाली लोग|बंगाली]] कायस्थ परिवार में हुआ था। इनकी शिक्षा [[प्रेसिडेंसी कॉलेज, कोलकाता|प्रेसिडेंसी कॉलेज]] और [[विश्व-भारती विश्वविद्यालय]] में हुई। इन्होने अपने कैरियर की शुरुआत पेशेवर [[चित्रकार]] की तरह की। [[फ़्राँस|फ़्रांसिसी]] फ़िल्म निर्देशक [[ज्यां रेनुआ]] से मिलने पर और [[लंदन]] में [[इटली|इतालवी]] फ़िल्म ''[[लाद्री दी बिसिक्लेत]]'' (''Ladri di biciclette'', बाइसिकल चोर) देखने के बाद फ़िल्म निर्देशन की ओर इनका रुझान हुआ।
 
राय ने अपने जीवन में ३७ फ़िल्मों का निर्देशन किया, जिनमें [[फ़ीचर फ़िल्म|फ़ीचर फ़िल्में]], [[वृत्त चित्र]] और [[लघु फ़िल्म|लघु फ़िल्में]] शामिल हैं। इनकी पहली फ़िल्म ''[[पथेर पांचाली]]'' (''পথের পাঁচালী'', पथ का गीत) को [[कान फ़िल्मोत्सव]] में मिले “सर्वोत्तम मानवीय प्रलेख” पुरस्कार को मिलाकर कुल ग्यारह अन्तरराष्ट्रीय पुरस्कार मिले। यह फ़िल्म ''[[अपराजितो]]'' (''অপরাজিত'') और ''[[अपुर संसार]]'' (''অপুর সংসার'', अपु का संसार) के साथ इनकी प्रसिद्ध ''[[अपु त्रयी]]'' में शामिल है। राय फ़िल्म निर्माण से सम्बन्धित कई काम ख़ुद ही करते थे — [[पटकथा]] लिखना, अभिनेता ढूंढना, [[पार्श्व संगीत]] लिखना, [[चलचित्रण]], [[कला निर्देशन]], [[संपादन]] और प्रचार सामग्री की रचना करना। फ़िल्में बनाने के अतिरिक्त वे कहानीकार, [[प्रकाशन|प्रकाशक]], चित्रकार और फ़िल्म आलोचक भी थे। राय को जीवन में कई पुरस्कार मिले जिनमें [[अकादमी मानद पुरस्कार]] और [[भारत रत्न]] शामिल हैं।