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<!-- [[चित्र:gond stamp.jpg|right|thumb|250px|गोंड जनजाति के दण्डामि माडिया पर भारतीय डाक विभाग द्वारा जारी एक डाक टिकट]] -->
'''गोंड''' (जाति) समुदाय, भारत की एक प्रमुख मूलवंशीजातीय समुदाय हैं। भारत के कटि प्रदेश - विंध्यपर्वत,सिवान, सतपुड़ा पठार, [[छत्तीसगढ़]] मैदान में दक्षिण तथा दक्षिण-पश्चिम - में गोदावरी नदी तक फैले हुए पहाड़ों और जंगलों में रहनेवाली आस्ट्रोलायड नस्ल तथा द्रविड़ परिवार की एक जनजाति, जो मानवसंभवत: उत्पत्तिपाँचवीं-छठी केशताब्दी समयमें दक्षिण से हीगोदावरी के तट को पकड़कर मध्य भारत के साथपहाड़ों हीमें फैल गई। आज भी मोदियाल गोंड जैसे समूह हैं जो गोंडों की जातीय भाषा [[गोंड (जनजाति)|गोंडी]] है जो द्रविड़ परिवार की है और [[तेलुगू भाषा|तेलुगु]], [[कन्नड़]], [[तमिल]] आदि से संबन्धित है। परिचय यह कुछजाति उत्तर प्रदेश में कुछसोनभद्र, पूर्वमीरजपुर, ववाराणसी, पश्चिमचंदौली, तथाजौनपुर, दक्षिणभदोही, तकआजमगढ़, फैलेगाज़ीपुर, हुएमऊ, हैंदेवरिया, बलिया, आदि जनपदों में निवास करती है। जिनकी जनसंख्या 15 लाख से भी ज्यादा है।
। आज भी मोदियाल गोंड जैसे समूह हैं जो गोंडों की जातीय भाषा [[गोंड (जनजाति)|गोंडी]] है जो द्रविड़ परिवार की है और [[तेलुगू भाषा|तेलुगु]], [[कन्नड़]], [[तमिल]] आदि से संबन्धित है। परिचय यह जाति उत्तर प्रदेश में सोनभद्र, मीरजपुर, वाराणसी, चंदौली, जौनपुर, भदोही, आजमगढ़, गाज़ीपुर, मऊ, देवरिया, बलिया, आदि जनपदों में निवास करती है। जिनकी जनसंख्या 15 लाख से भी ज्यादा है।
== परिचय ==
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