"कृष्णकुमार बिड़ला": अवतरणों में अंतर
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'''कृष्णकुमार बिड़ला''' (१२ अक्टूबर सन १९१८ - ३० अगस्त सन २००८) भारत के प्रख्यात उद्योगपति और [[राज्यसभा]] के पूर्व सदस्य थे। [[घनश्याम दास बिड़ला]] के पुत्र कृष्णकानत बिड़ला का जन्म १२ अक्तूबर, १९१८ को [[राजस्थान]] के [[पिलानी]] में हुआ था। उनके पिता भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के समय कांग्रेस के समर्थकों और गांधी जी के निकटवर्तियों में शामिल थे। उनकी उच्च शिक्षा कोलकाता, दिल्ली और पंजाब विश्वविद्यालय से हुई । ये १९८४ से २००० तक लगातार १८ वर्षों के लिये राज्यसभा के सदस्य भी रहे और इस दौरान संसद की कई समितियों की अध्यक्षता की। भारतीय चीनी उद्योग के वे संस्थापक सदस्यों में थे।<ref>[http://rashtryaujala.blogspot.com/2008/08/blog-post_2790.html उद्योगपति के अलावा भी बहुत कुछ थे के। के. बिड़ला]।राष्ट्रीय उजाला</ref> बिड़ला के औद्योगिक साम्राज्य में चीनी, उर्वरक, रसायन, हैवी इंजीनियरिंग, वस्त्र, जहाजरानी और समाचार-पत्र जैसे मुख्य उद्योग शामिल हैं। कृष्ण कुमार एक उद्योगपति होने के अलावा एक सम्मानित सांसद, समाजसेवी और विद्वान व्यक्ति थे। १९६१ में वे कलकत्ता के शेरिफ चुने गए थे और १९९७ में उन्हें [[पांडिचेरी
[[हिन्दुस्तान टाइम्स]] और बिड़ला समूह के अनेक उद्योगों के अध्यक्ष बिड़ला के परिवार में उनकी तीन पुत्रियाँ नंदिनी नुपानी, शोभना भारतीय और सरोज पोतदार हैं। शोभना भारतीय भारत के बड़े समाचारपत्र [[हिन्दुस्तान टाइम्स]] की संपादकीय सलाहकार हैं। उनकी पत्नी मनोरमा देवी बिड़ला का इनसे एक माह पूर्व जुलाई, २००८ में निधन हो गया था।
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