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ब्राविजय
संपादित करेंपरिचय
इंडोनेशिया दक्षिण पूर्व एशिया और ओशिनिया में स्थित एक देश है। १७५०८ द्वीपों वाले इस देश की जनसंख्या लगभग २३ करोड़ है, यह दुनिया का चौथा सबसे अधिक आबादी और दुनिया में सबसे बड़ी मुस्लिम आबादी वाला देश है। देश की राजधानी जकार्ता है। मजापहित साम्राज्य, इंडोनेशिया का सम्राट। मजापहित साम्राज्य जावा आजीर पर आधारित बहुत बडा श्रेष्ठ सम्राज्य था। मजापहित सम्राज्य इंडोनेशिया का सबसे अंतिम सम्राज्य था। इस रज्या का जीवन १५ से १६ सदी से था। इस रज्या का संस्थापक विजया थे। ब्राविजय का जन्म १४१३ मे हुआ था। ब्राविजय का असली नाम केर्तविजय था। ब्राविजय कि मृत्यु १४७८ मे हुई थी। ब्राविजय नाम दो शब्दों से आति है ब्रा और विजया, ब्रा-भातारा जिसका अर्थ है राजा। ब्राविजय को भातारा विज भी बुला सकते है।केर्तविजय(ब्राविजय) १४४७-१४५१, अपनी बहन के मौत के बाद ब्रविजय ने मजापहित को शासन किया। ब्राविजय की बहन का नाम सुन्हिता था। १२९२ मे मंगोल की सेना ने जावा में आक्रमण किया ताकि वो उनसे चीना के कुबलाइ खान का आपमान का बद्ला ले सके। इन सब मे विजया ने मंगोल सेना के साथ सहयोग और उनकी सहायता की। विजया उसके बाद मंगोल सेना के खिलाफ हो गया और अपनी पीठ दिखा दिया। विजाया के साम्राज्य ने फिर कब्जा नाली; मलायु आदि पे किया। विद्वान केह्ते है कि मजापहित का शेत्र इंडोनेशिया और मलेशिया के कुछ भागों मे उपल्ब है। उनका जीवन बहुत कष्टों से भरा हुआ था और जीवन के हर मोड पर उन्हें खुद को साबित करना पडा था और उन्हों ने हर बार खुद को सहि साबित भी किया था।
मजापहित राज्य
मजापहित आखिरी प्रमुख राज्य क्षेत्र थे जो कि सबसे ज्यादा शक्तिशाली और प्रभावशाली था पुरी इंडोनेशिया के इतिहास के अनुसार। इस प्रभाव और शासन को बहुत से राज्यों ने अपनाने कि कोशिश कि हैं। मजापहित के एक पुत्र का नाम ब्राविजय पुत्र थे।
जीवन परिचय
ब्रविजय एक अलग पुर्व इस्लामिक नाम है। सीलीवानगी अंतिम सबसे बडे गैर इस्लामिक सम्राट पूर्व जावा थे। यह एक सम्मानित राष्टवादिता थे। यह नेतव्व में माहीर थे। यह १४७८ से १४८९ तक सम्रट थे। इन्हें चीनी भाषा में पा बू ता ला कहते हैं। इनके जन्म तरुवोलन में हुआ था।
शासन
इस्लाम को बडाने के लिए ब्राविजय ने हर संभ्व प्रयास किया था अपने शाशन में और इस समय के दौरान विभिन्न्क्षेत्रों को जोडने के लिए एक उच्च केद्रीक्रत प्रशासन निर्मित किया था। मध्य १६ वीं सदी के अंत के बीच मुगल साम्राज्य भारत में फैल गया था। शासन करना बहुत जिम्मेदारी का काम होता है जो कि ब्राविजय ने बखुबी से निभाया था। वह बहुत ही प्रभावशाली नेता साबित हुए थे। ब्राविजय एक बहुत माहन नेता थे और उनका शासन ने मजापहित का इतिहास हि बदल दिया था। उनकि लडाईयाँ ने बहुत प्रभाव डाला था। महापहित के इतिहास मे वह अंतिम सबसे बडे सम्राट थे। उनकी वजह से मजापहित और जावा का नकशा हि बदल दिया था।
उपंसहार
ब्राविजय का बच्चपन बहुत हि कष्टमय था उसके बावजुद भी उन्होनें अपने आप को साबित किया था और यह बताया था कि वह इस सिंहासन के योग्य थे। अपने शासन में उन्होनें कष्ट और संग्रश के अतरिक्त कुछ नहीं देखा परंन्तु वह कभी हार नहीं माने और एक अच्छे सम्रट बने।
उल्लेख
<ref>https://en.wikipedia.org/wiki/Majapahit</ref>
<ref>https://www.britannica.com/place/Majapahit-empire</ref>