फ्रान्सेस ग्रेवेल का जन्म १७२४ में हुआ। वे एक इरिश कवी थी।


 
फ्रान्सेस ग्रेवेल - वार्विक और सोन का काउंटेस

फ्रान्सेस ग्रेवेल एक आयरिश कवि थी। फ़्रान्सेस ग्रेवेल का पूरा नाम फ्रन्चेस ग्रेवेल मेक्कारट्नि है । इने जॉर्जियाई इंग्लैंड में प्रसिध्द व्यक्ति मानी जाती थी। उनकी जन्म लोन्गफोर्ड् नामक जगह में हुआ। लोन्गफोर्ड ईयरलान्ड में है । फ़्रान्सेस ग्रेवेल , जेम्स मेक्कारट्नि के चार बेटियों में से एक थी। उनकी मा क नाम काथरीन है। काथरीन , रिचर्ड कूट की भांजी है। रिचर्ड कूट बेल्लोमोन्ट का प्रथम राजा था। फ़्रान्सेस ग्रेवेल १९७० में लंडन में थी। उनहोनें सारा लेन्नोक्स हे साथ थी। सारा उस समय लंडन की रानी थी। होरेस वालपोल एक कवि है। उनहोनें ग्रेवेल के बारे मे एक कविता लिखी है। ईस कविता का नाम , 'दी ब्यूटीस' है। इस कविता में ग्रेवेल को, ' फान्नी' पुकारा गया है। उनहोनें उसे द्र्बार में सबसे प्रसिदध्द स्त्री भी मानी गयी है।

विवाहित जीवन

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फ्रान्सेस की शादी फुल्क ग्रेविल के साथ हुइ थी। फ़ुल्क ग्रेविल विलबरी घर से थे। ईस घर को विल्टशीर भी माना जाता है। इनके शादि १७४८ में हुइ थी। लेकिन इन दोनों की शादी साथ भाग जाने के कारण हुआ। फ़्रन्सेस कि पति एक जुआरी व्यक्थि था। वे एक रंगीन मिलाज आदमी था। यह सब होने के बावजूद भी , फुल्क ग्रेविल ने अपने पूरे ह्रदय से अपनी पत्नी को प्यार किय। इस बात कि सच्चई हमें उनके एक नाटक में पता चलता है। ऊनके नाटक में फ़्लोरा नामक पात्र से पता चलता है। इस पात्र उनके माक्सिम्स नाटक से लिया गया है। एसा माना गया है कि फ्रान्सेस ने खुद इस नाटक में योगदान किया है॥

कवितात्मक काम

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वार्विक महल और अर्ल्स

फ्रानसेस ग्रेविल के शौकीन व्यवसाय उनके पेहले कविता से ही हुआ। उनकी पेहली कवीता का नाम , ' प्रेयर फोर इनडिफेरेन्स ' है। ईस कवीता का शीर्शक का अर्थ है , 'उदासीनता के लिए एक प्रार्थना'। यह कवीता लिखने के बाद फ्रनसेस इत्नी प्रसिध्द बन गये कि इस कवीता के बाद उसे सिर्फ सफलता थी। ईस पहली कवीता को इड्नबर्ग क्रोनिक्ल्स में प्रकाशित किया गया। यह कवीता १७५९ में प्रकाशित किया गया था। ईस कविता का मूल आदार संवेदनशीलता के बारे में है। इस कवीता को बहुत बार पुनप्रकाशित किया गया था। इसके साथ साथ कवीता को किसि संवेदनशीलता कवीता के साथ जुडकर प्रकाशित किया गया था। इसके अलावा उनकी कविताऍ सरल और सहज थी। वे हमेशा वेर्स दे सोसाइटे के बारे में लिखते थे।


पारिवारिक जीवन

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फ्रानसेस ग्रेवेल ने अपनी १७६० और १७७० के वर्शों को यात्रा करके बिताया। उनकी पती, फुल्क ग्रेवेल को बवेरिया का दूत माना गया। यह १७६४ में हुआ। फ्रान्सेस ग्रेविल एक प्रसिध्द बातूनी है। वे चार्ल्स औरफ्रान्सेस बरनी के दोस्त भी थी। रिचर्ड ब्रिनस्ले शेरिडान भी फ्रान्सेस के साथ अच्छे व्यवहार मे थे । रिचर्ड ने अपने कविता , ' दी क्रिटिक ' को फ्रान्सेस के लिए सम्रर्पित किया। क्रिटिक शीर्शक का अर्थ आलोचक है।

 
माक्सिम्स उपन्यास से लिया गया है

उनके कविता में मानवता के बारे में बोहुत वर्णन किया गया है। ग्रेविल अपनी कविताओं मे साथ रहने के महत्त्व बारे में भी वर्णन किया है।

फ्रान्सेस का मरण १७८९ , हाम्पटन दरबार में हुआ।

[1] [2] [3] [4]

  1. https://en.wikipedia.org/wiki>
  2. http://www.eighteenthcenturypoetry.org/authors/pers00175.shtml
  3. https://www.ancestry.com/genealogy/records/frances-greville_17683511
  4. http://www.colonial-settlers-md-va.us/getperson.php?personID=I046509&tree=Tree1