अलंकार चन्द्रोदय के अनुसार हिन्दी कविता में प्रयुक्त एक अलंकार समासोक्ति अलंकार मे प्रस्तुत वृत्तान्त के वर्णन किये जाने पर विशेषण के साम्य से अप्रस्तुत वृत्तान्त का भी वर्णन किया जाता है | उदाहरण- कुमुदिनी हूँ प्रफूलित भाई , साँझ कलानिधी जोई |