साँचा:आज का आलेख १० दिसंबर २०१०
मोबाइल कंप्यूटिंग एक सामान्य शब्द है जो गतिशील अवस्था में प्रौद्योगिकी का उपयोग करने की क्षमता का वर्णन करता है, पोर्टेबल कंप्यूटर के ठीक विपरीत, जो केवल तभी प्रयोग में लाये जा सकते हैं जब उन्हें स्थिर अवस्था में रखा जाए।[1] मोबाइल कंप्यूटिंग में सामान्यतया यात्रा के दौरान इंटरनेट प्रयोग के लिए कई तकनीकों को समाहित किया जाता है। नोटबुक कंप्यूटरों से लेकर ब्लैकबेरी और आईफोन तक और साधारण मोबाइल फोन उपकरणों, जैसे पर्सनल डिजिटल एसिस्टेंट (पीडीए) के माध्यम से मोबाइल कंप्यूटिंग काफी प्रयोग में है। मोबाइल, लैपटॉप और नोटबुक कंप्यूटर में यात्रा के समय दो तरह की बेतार यानि वायरलेस एक्सेस सेवा का प्रयोग संभव है। अधिकतम होने वाली और सबसे सस्ती सेवा वाइफाई है, जिसके माध्यम से एक वायरलेस राउटर के द्वारा इंटरनेट सिग्नल कंप्यूटर तक पहुंचता है। वाइफाई का अधिकांश प्रयोग सार्वजनिक स्थानों, जैसे विमानक्षेत्र, कंपनियों, कार्यालयों आदि में किया जाता है। किन्तु इसकी कमी यह है कि इसे हॉटस्पॉट बनाना होता है और फिर उसे प्रसारण सीमा के भीतर ही सीमित रखना होता है। वाइफाई का विकल्प एक सेल्युलर ब्रॉडबैंड होता है। इसमें एक मोबाइल सेल्युलर मॉडम या एयरकार्ड के द्वारा मोबाइल टावरों से संपर्क किया जाता है। फिर इस एयरकार्ड को नोटबुक के पीसी कार्ड या एक्सप्रेस कार्ड में लगाया जाता है, जिससे यात्रा में इंटरनेट का प्रयोग हो सकता है। इसके बाद उपयोक्ता को जहां भी भी सेल्युलर सेवा उपलब्ध होती है, ब्रॉडबैंड का सिग्नल स्पष्ट मिलता रहता है। सेल्युलर ब्रॉडबैंड से मोबाइल फोनों को भी इंटरनेट सिग्नल मिलता है। विस्तार में...