कुलदीप माणक
भारतीय गायक
कुलदीप माणक (जन्म: लतीफ़ मोहम्मद खान; 15 नवंबर 1951 – 30 नवंबर 2011) एक भारतीय गायक थे जो पंजाबी संगीत की दुर्लभ शैली, काली के लिए जाने जाते थे[3][4][5] इसके बहुवचन कलियन के लिए भी वो पहचाने जाते हैं।[1][6]
कुलदीप माणक | |
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अन्य नाम | माणक, कलियन दा बादशाह |
जन्म | 15 नवम्बर 1951[1][2] जलाल, बठिन्डा जिला, पंजाब, भारत |
निधन | 30 नवम्बर 2011 लुधियाना, पंजाब, भारत | (उम्र 60 वर्ष)
विधायें | लोक गीत, काली |
पेशा | गायक, अभिनेता, गीतकार, संगीतकार |
वाद्ययंत्र | टूम्बी |
सक्रियता वर्ष | 1968–2011 |
लेबल | ऍचएमवी, टी-सीरीज़ |
सन्दर्भ
संपादित करें- ↑ अ आ सिंह, जसमिन (1 दिसम्बर 2012). "A VOICE that was..." [एक आवाज जो थी...] (अंग्रेज़ी में). चण्डीगढ़. द ट्रिब्यून. अभिगमन तिथि 3 अगस्त 2020.
- ↑ "KULDEEP MANAK" [कुलदीप माणक] (अंग्रेज़ी में). सारेगामा. मूल से 13 दिसम्बर 2013 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 3 अगस्त 2020.
- ↑ "Mela marked by melee" (अंग्रेज़ी में). बठिंडा. द ट्रिब्यून. 27 फ़रवरी 2012. अभिगमन तिथि 3 अगस्त 2020.
- ↑ "Artistes mourn Kuldeep Manak's demise" [कुलदीप माणक के निधन से दुखी कलाकार]. लुधियाना. द ट्रिब्यून. 1 दिसम्बर 2012. अभिगमन तिथि 3 अगस्त 2020.
- ↑ पांडे, अलका (1999). Folk music & musical instruments of Punjab [पंजाब के लोक गीत और वाद्ययंत्र] (अंग्रेज़ी में). मैपिन. पपृ॰ 27. आई॰ऍस॰बी॰ऍन॰ 1-890206-15-6.
- ↑ "RIP: Kaliyan da Badshah" [कलियन के बादशाह को श्रद्धांजलि] (अंग्रेज़ी में). अमृतसर. द ट्रिब्यून. 2 दिसम्बर 2012. अभिगमन तिथि 3 अगस्त 2020.
बाहरी कड़ियाँ
संपादित करें- कुलदीप माणक का जीवन[मृत कड़ियाँ] (अंग्रेज़ी में)
- कुलदीप माणक का वीडियो साक्षात्कार (अंग्रेज़ी में)