जाकिन्तो बेनावेन्ते
जाकिन्तो बेनावेन्ते (1866-1954) स्पेनिश नाटककार थे। 1922 ई० में साहित्य में नोबेल पुरस्कार विजेता।
जाकिन्तो बेनावेन्ते | |
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जन्म | 12 अगस्त, 1866 मैड्रिट, स्पेन |
मौत | 14 जुलाई, 1954 |
पेशा | साहित्य |
भाषा | स्पेनिश |
राष्ट्रीयता | स्पेनिश |
काल | आधुनिक |
विधा | नाटक |
जीवन-परिचय
संपादित करेंजाकिन्तो बेनावेन्ते का जन्म 12 अगस्त, 1866 को स्पेन की राजधानी मेड्रिड में हुआ था।[1] उनके पिता एक प्रसिद्ध चिकित्सक थे। आरंभ में बेनावेन्ते ने कानून को अपना पेशा बनाना चाहा था और उसका कुछ अध्ययन भी किया था, किंतु बाद में लेखन और रंगमंच की ओर मुड़ गये। उनको आरंभ से ही नाटक और सर्कस के प्रबंध का कुछ ज्ञान था और वह अभिनय करने वालों और दर्शकों की आवश्यकताओं को समझते थे। 1913 में बेनावेन्ते स्पेनिश एकेडमी के सदस्य चुने गये। उन्होंने खूब देशाटन किया और जहाँ-जहाँ गये वहाँ-वहाँ अपने नाटकों को अभिनीत होते देखा।[1] विशेषकर रूस, इंग्लैंड, दक्षिण अमेरिका और संयुक्त राष्ट्र अमेरिका की उन्होंने सफल यात्रा की।
रचनात्मक परिचय
संपादित करेंबेनावेन्ते को स्पेन का महान् नाटककार माना गया है। उन्होंने नाटक को यथार्थवाद की ओर लौटाया। उन्होंने नाटक में व्याख्यात्मक पद्य के स्थान पर गद्य और कॉमेडी के स्थान पर सनसनीपूर्ण घटनाओं को स्थान दिया। उनके नाटक मस्तिष्क को विचार करने के लिए विवश कर देते हैं।[2] बेनावेन्ते के पात्र प्रायः क्षणस्थायी होते हैं और वह लेखकीय उद्देश्य की पूर्ति करने के बाद सहसा लुप्त हो जाते हैं।[3] उन्होंने अपने नाटकों में विभिन्न स्थानों का समावेश किया है और अंतर्दृष्टि का यथेष्ट परिचय दिया है। अपनी रचनाओं में उन्होंने अपने उस आदर्शवाद को बुना है, जो दुर्बल मनुष्यता और परकीय निजस्व के अंतर को प्रकट करता है। इस आदर्श का सर्वापेक्षा गहन संबंध प्रेम से है।
प्रकाशित पुस्तकें
संपादित करें- नाटक
- तुम्हारे भाई का घर - 1894
- समाज में -1896
- जंगली जानवरों का भोज -1898
- सत्य
- पतझड़ के गुलाब
- एक घंटे का जादू
- एर्मिन का भूखंड (द फील्ड ऑफ एर्मिन)
- आसक्ति-पुष्प
- ब्याजी तमस्सुक
- एलहोमोब्रेसिटो
- गवर्नर की स्त्री
- पुस्तकों का कीड़ा राजकुमार
- शनिवार की रात्रि
- दूसरी प्रतिष्ठा
- इंटरस्ट बाण्ड
- ए पेयर ऑफ शूज ऑर डॉटफुल वर्च्यू (जूतों का जोड़ा या संदिग्ध गुण)
- राजकुमारियों का स्कूल