धर्मराज थापा
नेपाली लोक गायक
जनकवि केशरी धर्मराज थापा (१९२४ - २०१४)[1] नेपाली कवि, गीतकार एवम् गायक थे। हरियो डाँडा माथि हह माले हह, नेपालीले माया मार्यो वरिलै, आदि के लिए प्रसिद्ध है। उनका विवाह १५ सालके उमरमें सावित्री से हुआ था जो १३ साल की थी। [2] धर्मराज नेपाल एकाडमी के लाइफटाइम सदस्य हैं। [3]
जनकवि केशरी धर्मराज थापा | |
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पृष्ठभूमि | |
जन्म | श्रावण १, १९८१ विक्रम संवत |
मूलस्थान | नेपाल |
निधन | आश्विन २८, २०७१ विक्रम संवत |
विधायें | नेपाली लोक |
पेशा | गायक, कवि |
जन्म
संपादित करेंउनका जन्म पश्चिम नेपाल के गण्डकी अंचलमें नेपाली खस क्षत्रिय (क्षेत्री) परिवारमें हुआ था।
कृति
संपादित करें- हरियो डाँडा माथि हह माले हह
- नेपालीले माया मार्यो वरिलै
स्रोतहरू
संपादित करें- ↑ "जनकवि केशरी धर्मराज थापा की मृत्यु". ekantipur. 14 October 2014. मूल से 20 जनवरी 2015 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 20 January 2015.
- ↑ "Dharmaraj Shavitri Guthi, Official Website". मूल से 15 अक्तूबर 2012 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 13 जून 2017.
- ↑ "Lifetime members of Nepal Academy". मूल से 21 सितंबर 2013 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 13 जून 2017.