पश्चिमी जोधपुर जिले के बालेसर क्षेत्र में बिराई गांव है जहां पर सभी समुदाय के लोग भाई चारे के साथ रहते है इन्ही गांव में जन्मे राजस्थानी भाषा के आदर्श कवि डॉ शक्तिदान जी कविया ने पूरे भारतवर्ष में गांव का नाम रोशन किया है उन्ही की दिशा निर्देश से आधुनिक कवि किशन बिड़ला बिराई वर्तमान में हिंदी व राजस्थानी भाषा में साहित्य रचते है। जिनका परम मित्र पुखराज प्रजापति है किशन जी की कविताएं :- राजस्थानी भासा,दहेज मुक्ति,बसंत ऋतु, मायड़ संस्कृति व अन्य ये कविताएं यूमेन एक्सप्रेस न्यूज नई दिल्ली में छपती है।

-पर्यटक स्थल-

1.संत शेरा राम समाधि स्थल

2.मालण दुलाई धाम

3. कालका माता(हिंगलाज नगर)

4.बाबा रामदेव जी का मंदिर

5.हनुमान धाम

बिराइ गांव में सरकारी अस्पताल, हाई स्कूल है।

यहां के आमजन की भाषा राजस्थानी भाषा है।

बिराई गांव में प्रतिवर्ष संविधान निर्माता डॉ भीम राव अंबेडकर की जयंती धूमधाम से मनाई जाती है। गांव के सरपंच वासुदेव कविया हर कार्यक्रम को संबोधित करते है। किशन बिड़ला सहित सम्पूर्ण बिराई निवासी इस कार्यकर्म में भाग लेते है।

हरवर्ष माघ सुदी सातम के दिन मालण दुलई माता का जुलूस निकलता है। जिसमे सभी लोग धूम धाम से भाग लेते है।

जय राजस्थान जय बिराई भोम

1.शेराराम समाधि

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