HEMANT FAUJDAR
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समीकरण के एक पक्ष में स्थित कोई चर, अचर, व्यंजक आदि को दूसरे पक्ष में ले जाने को पक्षान्तर कहा जाता है। समीकरण हल करने में पक्षान्तर का बहुत महत्व है। पक्षान्तर करने का सिद्धान्त उपर वर्णित समीकरण के गुणों पर ही आधारित है।
 
--[[विशेष:योगदान/1.38.19.35|1.38.19.35]] ([[सदस्य वार्ता:1.38.19.35|वार्ता]]) 01:32, 19 फ़रवरी 2014 (UTC)== समीकरण के प्रकार ==
किसी समीकरण में निहित चर राशियों की प्रकृति के आधार पर समीकरण का वर्गीकरण इस प्रकार किया जा सकता है:
 
* बीजगणितीय समीकरण (algebraic equation) (A+B)2
{{सही}}
 
** रेखीय (Linear equation)
** [[द्विघात]] समीकरण (Quadratic equation)
** त्रिघात समीकरण (Cubic equation)
 
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चित्र:उदाहरण.jpg|चित्रशीर्षक१
चित्र:उदाहरण.jpg|चित्रशीर्षक२
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* ट्रान्सिडेन्टल समीकरण (Transcendental equation)
* अवकलज समीकरण (Differential equation)
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* अन्तर समीकरण (Difference equation)
* समाकलन समीकरण (Integral equation)
* फलनिक समीकरण (Functional equatiequation)
 
== समीकरण का महत्व ==