सरिय्या सा'द बिन अबी वक़्क़ास
सरिय्या सा'द बिन अबी वक़्क़ास या सरिया खर्रार तीसरा इस्लामिक सैन्य अभियान है जो (जीकादा सन् 07 हि०, मई ७१३ ई०) में हुआ। इस्लाम के पैगम्बर मुहम्मद ने इस लड़ाई का (सेनापति) हजरत सा'द बिन अबी वक़्क़ास रजि० को मुकूर्रर किया और उन्हें बीस आदमियों को कमान देकर कुरैश के एक क़बीले का पता लगाने के लिए रवाना किया और यह ताकीद फरमा कि ख़र्रार से आगे न बढ़ें। ये लोग पैदल रवाना हुए। रात को सफर करते और दिन में छिपे रहते थे। पांचवें दिन सुबह खर्रार पहुंचे तो मालूम हुआ कि काफिला एक दिन पहले जा चुका है इस सरिय्ये का झंडा सफेद था और झंडा-बरदार हजरत मिकदाद बिन अम्र रजि० थे।[1][2]
सरिय्या सा'द बिन अबी वक़्क़ास,इस्लामिक सैन्य अभियान का भाग | |||||||
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सराया और ग़ज़वात
संपादित करेंअरबी शब्द ग़ज़वा [3] इस्लाम के पैग़ंबर के उन अभियानों को कहते हैं जिन मुहिम या लड़ाईयों में उन्होंने शरीक होकर नेतृत्व किया,इसका बहुवचन है गज़वात, जिन मुहिम में किसी सहाबा को ज़िम्मेदार बनाकर भेजा और स्वयं नेतृत्व करते रहे उन अभियानों को सरियाह(सरिय्या) या सिरया कहते हैं, इसका बहुवचन सराया है।[4] [5]
इन्हें भी देखें
संपादित करेंसन्दर्भ
संपादित करें- ↑ सफिउर्रहमान मुबारकपुरी, पुस्तक अर्रहीकुल मख़तूम (सीरत नबवी ). "सरिया-ए-ख़र्रार". पृ॰ 399. अभिगमन तिथि 13 दिसम्बर 2022.
- ↑ Safiur Rahman Mubarakpuri, The Sealed Nectar (Biography Of The Noble Prophet)
en:Ar-Raheeq Al-Makhtum -en:seerah book. "The Kharrar Mission". पृ॰ 510.
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में 51 स्थान पर line feed character (मदद) - ↑ Ghazwa https://en.wiktionary.org/wiki/ghazwa
- ↑ siryah https://en.wiktionary.org/wiki/siryah#English
- ↑ ग़ज़वात और सराया की तफसील, पुस्तक: मर्दाने अरब, पृष्ट ६२] https://archive.org/details/mardane-arab-hindi-volume-no.-1/page/n32/mode/1up