साँचा:आज का आलेख १५ अप्रैल २०१०
महाभारत की मुख्य कथा हस्तिनापुर की गद्दी के लिये एक ही वंश के वंशजों कौरवों और पाण्डवों के बीच का आपसी संघर्ष था। हस्तिनापुर और उसके आस-पास का क्षेत्र आज गंगा नदी से उत्तर में और यमुना के आस-पास दोआब का क्षेत्र माना जाता है, जहाँ वर्तमान दिल्ली भी स्थित है। इन भाइयों के बीच की लड़ाई आज के हरियाणा स्थित कुरुक्षेत्र के आस-पास हुई मानी गई है जिसमें पाण्डव विजयी हुये थे। महाभारत की समाप्ति यदु-वंश की समाप्ति तथा पाण्डवों के स्वर्ग गमन के साथ होती है।इसे आमतौर पर वैदिक युग में लगभग ३१०० ईसा पूर्व के समय का माना जाता है। विद्वानों ने इसकी तिथी निरधारित करने के लिये इसमें वर्णित सूर्य ग्रहण और चंद्र ग्रहणों के बारे में अध्ययन किया है और इसे ३१ वीं सदी इसा पूर्व का मानते हैं,लेकिन मतभेद अभी भी जारी है। विस्तार में...