साँचा:आज का आलेख १७ अप्रैल २००९
भारत के मध्यप्रदेश प्रान्त में स्थित उज्जैन नगर के दर्शनीय स्थलों में महाकालेश्वर का मंदिर प्रमुख है। यह देश के १२ ज्योतिर्लिगों में से एक है। पुराणों, महाभारत और कालिदास जैसे महाकवियों की रचनाओं में इस मंदिर का मनोहर वर्णन मिलता है। स्वयंभू, भव्य और दक्षिणमुखी होने के कारण महाकालेश्वर महादेव की अत्यंत पुण्यदायी महत्ता है। इसके दर्शन मात्र से ही मोक्ष की प्राप्ति हो जाती है, ऐसी मान्यता है। महाकवि कालिदास ने मेघदूत में उज्जयिनी की चर्चा करते हुए इस मंदिर की प्रशंसा की है। १२३५ ई. में अलतमस के द्वारा इस प्राचीन मंदिर का विध्वंश करने के बाद से यहां जो भी शासक रहे, उन्होंने इस मंदिर का जीर्णोद्धार और सौन्दर्यीकरण की ओर विशेष ध्यान दिया है इसीलिए मंदिर अपने वर्तमान स्वरूप को प्राप्त कर सका है। प्रतिवर्ष और सिंहस्थ के पूर्व इस मंदिर को सुसज्जित किया जाता है। विस्तार से पढ़ें